रांची(RANCHI): झारखंड का धनबाद देश की कोयला राजधानी के नाम से जाना जाता है.यहाँ के कोयले से ही देश जगमगता है.बड़े बड़े उद्योग इसी कोयले से चलते है,लेकिन इस धनबाद के लोगों की ज़िंदगी में अंधेरा छाया हुआ है.इस अंधकार को हटाने और अपने परिवार के दो पैसे कमाने के लिय मजदूर अवैध खनन के काम करने चले जाते है. उन्हे मालूम नहीं होता की वह वापस लौटेंगे या नहीं.कई बार तो अवैध खनन में दबे मजदूरों की लाश भी परिवार को नसीब नहीं होती. वह अपने अंदर ही अंदर रोते और सिसकते है. सोचते है कि क्या हो गया,अब यह मामला सदन में भी गूंज रहा है. बघमारा विधायक ढुल्लू महतो ने दावा किया कि करीब पाँच हजार आदिवासी अदलित की जान अवैध खनन में चली गई है.
अवैध खनन कर कोयलांचल से कोयले को बाहर भेजने का काम जोर शोर से चलता है.हर दिन सैकड़ों ट्रक दूसरे राज्य चले जाते है लेकिन पुलिस बेखबर रहती है.खनन करने में माफिया इतना मशगूल हो जाते है कि वह नहीं देखते की हम कितना अंदर पहुँच गए है यहाँ से अधिक खनन करना अब घातक हो सकता है. बस कोयले निकालने में लगे रहते है. ऐसे में कई बार चाल धस जाता है और मजदूर उसके अंदर ही दब कर मार जाते है.कई बार चाल धसने की खबर को भी दबा दिया जाता है.क्योंकी पुलिस प्रशासन और माफिया का गठजोड़ काम करता है.
इस मामले में बघमारा विधायक ढुल्लू महतो ने दावा किया कि पुलिस और सरकार के संरक्षण में अवैध खनन किया जा रहा है. हर दिन लोगों की जान जा रही है लेकिन देखने और खनन रोकने वाला कोई नहीं है.उन्होंने कहा कि SSP धनबाद में सरकार के सह पर अवैध खनन कराने में लगे है. लोगों की जान जा रही है और रोकने वाला कोई नहीं है. हर दिन चाल धंसने से लोग मर रहे है अब इस मामले की पूरी जांच केन्द्रीय एजेंसी से होनी चाहिए.धनबाद में पचास हजार करोड़ से अधिक के कोयले की लूट हुई है.अगर इसकी जांच नहीं हुई तो फिर जो छोटे लोगों की जांच की जाती है उन्हे छोड़ देना बेहतर होगा.
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