दुमका (DUMKA) : दुमका जिला के बासुकीनाथ धाम स्थित शिव गंगा में 12 फरवरी को एक किशोर के डूबने की आशंका जताई गई थी. पहले स्थानीय गोताखोर की मदद से शव की तलाश की गई. सफलता नहीं मिलने पर उसी दिन देवघर से एनडीआरएफ की टीम बुलाई गई. तीन दिनों तक एनडीआरएफ की टीम द्वारा शव की तलाश की गई. निराश होकर एनडीआरएफ ने 14 की शाम रेस्क्यू आपरेशन को बंद कर दिया. जिसके बाद गुरूवार को 5 वें दिन लोगों ने शिव गंगा में तैरते एक शव को देखा. सूचना जरमुंडी थाना पुलिस को दी गई. सूचना मिलते ही जरमुंडी थाना की पुलिस मौके पर पहुंची और कड़ी मशक्कत के बाद शव को शिवगंगा से निकाला गया. शव की पहचान उसी किशोर के रूप में हुई जिसके डूबने की आशंका 12 फरवरी को जताई गई थी.
बासुकीनाथ धाम के शिवगंगा तट की सुरक्षा बढ़ी
बता दें कि बिहार के बौसी जिला का एक किशोर अपने रिश्तेदार के घर बासुकीनाथ आया था. 12 फरवरी को वह स्नान करने शिवगंगा पहुंच गया. अचानक गहरे पानी में उतरने के कारण वह डूबने लगा. उसे डूबता देख कुछ बच्चों ने देखा था. बच्चे शोरगुल मचाने लगे. उसके बाद उसकी शव की तलाश शुरू हुई. गुरूवार को शव बरामद किया गया. इस घटना ने विश्वप्रसिद्ध बासुकीनाथ धाम के शिवगंगा तट की सुरक्षा व्यवस्था पर सवाल खड़े कर दिया है. प्रशासन और मंदिर प्रबंधन के साथ-साथ आम लोगों को भी इस मुद्दे पर सोचना होगा.
रिपोर्ट : पंचम झा, दुमका
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