धनबाद(DHANBAD): अपराध से कराहती धनबाद की धरती से कभी-कभी सुखद खबरें भी मिल जाती है. धनबाद का आईआईटी- आईएसएम अब शहर के लिए मास्टर प्लान का एप तैयार करेगा. इस ऐप में निगम क्षेत्र के सभी वार्डों की सेपरेट जानकारी होगी. वार्ड के भीतर स्कूल ,कॉलेज, सड़क, नाली से लेकर खाली जमीन तक का वितरण होगा. समय-समय पर यह ऑटो अपडेट भी होता रहेगा. किसी भी सुविधा की संख्या बढ़ने पर इसे अपडेट करने का इंतजाम रहेगा. शहर का कोई भी व्यक्ति इस ऐप से पूरी जानकारी प्राप्त कर सकता है. केंद्र सरकार के इस्पात मंत्रालय की टीम इस प्रयास और एप की मुक्त कंठ से प्रशंसा की है. आईआईटी आईएसएम, धनबाद के लिए मास्टर प्लान 2030 तैयार कर रहा है.
इस्पात मंत्रालय ने की है सराहना
इस्पात मंत्रालय के अवर सचिव अशोक शर्मा के नेतृत्व में टीम धनबाद के दौरे पर है. टीम का मानना है कि यह प्रोजेक्ट ई गवर्नेंस सुनिश्चित करने की क्षमता रखता है. मास्टर प्लान में धनबाद के लिए भविष्य की योजनाएं ,जमीन के उपयोग, जमीन के हालात, धनबाद का नक्शा समेत अन्य बिंदुओं को सामने लाया जाएगा. इस प्रोजेक्ट को ई गवर्नेंस के तहत राष्ट्रीय पुरस्कार के लिए भी नामित किया गया है. अब अगले दौर में चयन के लिए इस प्रोजेक्ट की स्क्रीनिंग होगी. इस प्रोजेक्ट में भू- धसान वाले इलाके की मैपिंग भी होगी. भू धसान वाले क्षेत्रों की पहचान के लिए आज तक ऐसी योजनाएं नहीं बनाई गई है. इस डेटाबेस और धनबाद मास्टर प्लान को धनबाद नगर निगम को बिना किसी शुल्क के दिया जाएगा. यह धनबाद के लिए बड़ी बात है, क्योंकि धनबाद में आर्थिक, सामाजिक, शैक्षणिक उर्जा तो बहुत है लेकिन इसका उपयोग सही दिशा में नहीं होने के कारण इसका क्षय होता है.
कोयलांचल पर "लक्ष्मी" और "सरस्वती" की बराबर बराबर की कृपा
वैसे भी कहा जाता है कि धनबाद कोयलांचल पर "लक्ष्मी" और "सरस्वती" की बराबर बराबर की कृपा है. लेकिन अपराध, गोलीबारी, बम बाजी, रंगदारी की घटनाओं के कारण कभी-कभी "लक्ष्मी" यहां भारी दिखने लगती है जबकि "सरस्वती" भूमिगत रहकर काम करती है. धनबाद के इतिहास में एक से एक दानवीर हुए लेकिन उन लोगों ने कभी ख्याति नहीं बटोरी. लेकिन फिलहाल रंगदारी के लिए ख्याति बटोरने की होड़ मची हुई है. इससे सरकार भी परेशान है, पुलिस भी परेशान है और यहां के लोग भी दहशत में रहने को विवश है. कारोबारी तो धंधा -व्यवसाय समेटने कि सोचने लगे है.
रिपोर्ट -धनबाद ब्यूरो
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