Patna- 25 अगस्त को सुप्रीम कोर्ट में अपनी जमानत पर सुनवाई से ठीक पहले राजद सुप्रीमो लालू यादव ने सीबीआई की मंशा पर सवाल उठाया है. लालू यादव ने कहा है कि सिर्फ सीबीआई उनसे असंतुष्ट हैं, इस आधार पर जमानत को रद्द नहीं किया जा सकता. सीबीआई को हाईकोर्ट से फैसले में हस्तक्षेप करने से बचना चाहिए, क्योंकि हाईकोर्ट ने यह फैसला सभी नियमों और सिद्धांतों के अध्ययन के बाद ही दिया गया है.
यहां बता दें कि फिलहाल चारा घोटाला से जुड़े दुमका, डोरंडा, चाईबासा और देवघर मामले में जमानत पर है, कोर्ट ने लालू यादव की गिरता स्वास्थ्य और बढ़ती उम्र के आधार पर जमानत प्रदान किया है. लेकिन किडनी प्रत्यार्पण और गिरते स्वासथ्य के बावजूद भी लालू यादव अपने बेबाक राजनीतिक बयानों अखबारों की सुर्खियां बटोर रहे हैं. अभी हाल ही में पटना में आयोयित विपक्षी दलों की बैठक के दौरान उनका एक बयान काफी सुर्खियों में रहा था, जब उन्होने इस बात का दावा किया थ कि वह पूरी तरह से फिट है, और वह अब पीएम मोदी को फिट करने वाले हैं.
पीएम मोदी के खिलाफ बयान के बाद तेज हुई जमानत रद्द करवाने की मुहिम
दावा किया जाता है कि पीएम मोदी के खिलाफ इसी बयान के बाद राजद सुप्रीमो की जमानत को रद्द करवाने की सुगबुहाआट तेज हो गयी. आखिरकार यह मामला देश की सर्वोच्च अदालत पहुंच गया, जहां सीबीआई के द्वारा दुमका, डोरंडा, चाईबासा और देवघर मामलों में मिली जमानत को चुनौती दी गयी, अब देखना होगा कि इस मामले में कोर्ट का क्या रुख रहता है. इसके लिए हमें 25 अगस्त तक का इंतजार करना होगा. लेकिन इतना तय है कि लालू यादव अपने बयानों से अखबारों की ना सिर्फ सुर्खियां बटोर रहे हैं, बल्कि बिहार और देश में विभिन्न विपक्षी दलों को एक साथ खड़ा करने में कामयाब होते भी दिख रहे हैं.
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