रांची(RANCHI): झारखंड में ED की जांच का दायरा बढ़ता जा रहा है.पंकज मिश्रा से जुड़े मामले में हर दिन एक नया खुलासा हो रहा है. पंकज मिश्रा अकेले साहेबगंज में अपनी सरकार चला रहा था. इसके इशारे पर तमाम पुलिस और प्रशासनिक महकमा काम कर रहा था. पंकज का रसूक इतना था की बरहरवा टोल प्लाजा मामले में वरीय पुलिस अधिकारी ने पंकज मिश्रा और मंत्री आलमगिर आलम को 24 घंटे में ही क्लीन चिट दे दिया था.
जिस DSP के नेतृत्व में जांच चल रही थी इन्होंने बिना किसी जांच के कागज पर ही पंकज मिश्रा और मंत्री को क्लीन चिट दे दिया था. सूत्रों की माने तो DSP ने ना कोई डिजिटल सबूत देखा और ना ही प्रारंभिक जांच की . लेकिन यह सवाल है कि आखिर क्लीन चिट कैसे दिया. यह वहीं DSP है जिनका नाम दरोगा रूपा तिर्की मामले में भी खूब उछला था.
ईडी दफ्तर में सोमवार को ASI सरफुद्दीन खान और अन्य जांच अधिकारियों से पूछताछ चली थी. इस पूछताछ में ईडी की ओर से केस बंद करने के पीछे का कारण पूछा इसपर ASI ने ईडी को बताया है कि जिले के वरीय पुलिस अधिकारियों के निर्देश पर केस बंद किया गया था. आने वाले दिनों में साहेबगंज के कई वरीय पुलिस अधिकारी से भी पूछताछ हो सकती है.
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