रांची(RANCHI): झारखंड विधानसभा के मॉनसून सत्र का चौथा दिन काफी हंगामेदार रहा. बीजेपी ने अपने चार विधायकों के निलंबन के विरोध में सदन का बहिष्कार कर दिया. बीजेपी के विधायक इतने भर से नहीं माने. उन्होंने विधानसभा की सीढ़ियों पर ही खुद की सदन लगा ली. जिसकी अध्यक्षता भानु प्रताप शाही ने की. इस मामले पर जब मीडिया ने विधानसभा के स्पीकर रबीन्द्रनाथ महतो से पूछा तो उन्होंने कहा कि बाहर क्या हुआ, उन्हें इसकी कोई सूचना नहीं है. बाहर क्या होता है, इससे उन्हें कोई मतलब नहीं है. बाहर के सदन के सवाल पर उन्होंने कहा कि लोग जहां चाहे वहां सदन चला सकते हैं. सड़क पर भी सदन चला सकते हैं, आप भी चलाइए. उन्होंने कहा कि क्या अंदर के सदन और बाहर के सदन में कोई फर्क नहीं है. वहीं विधायकों के निलंबन वापसी के सवाल पर उन्होंने कहा कि ये विषय उनके पास आया है. विचार किया जाएगा, इसके बाद फैसला लिया जाएगा.
विपक्ष अपनी मर्यादा तोड़ रहा है : संसदीय कार्य मंत्री
वहीं बीजेपी विधायकों के सदन बहिष्कार पर कांग्रेस विधायक दल के नेता सह संसदीय कार्य मंत्री आलमगीर आलम ने कहा कि विपक्ष की भी एक भूमिका होती है. जब 4 सदस्यों का निलंबन होता है तो बाकी सदस्यों को रहना चाहिए. लेकिन इन्हें जनता से कोई मतलब नहीं है. जब हम विपक्ष में थे, तो हमारे सदस्य 4 महीने के लिए निलंबित हुए थे. लेकिन हमने सदन नहीं छोड़ा था. यह लोग अपनी मर्यादा को तोड़ रहे हैं.
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