अब तो NGT की भी रोक नहीं है, फिर भी धनबाद में बालू बना हुआ है सोना, जानिए इसके लिए आखिर कौन है जिम्मेवार 

झरिया के कतरास मोड़ में जैसे पहले सूर्योदय के पहले ही कोयले की मंडी सजती थी, उसी तरह अभी शहर के कई चौक चौराहों पर बालू की मंडी लगती है. बालू की मंडी लगाने वाले किसी भी निरोधात्मक एजेंसी को देखकर चौकस  हो जाते हैं और भागमभाग का खेल शुरू हो जाता है. कारण  है कि शहर में जो भी बालू बेधड़क बिक रहे हैं, वह अवैध हैं. एनजीटी की रोक हटने के बाद भी धनबाद के 19 बालू घाटों की नीलामी अभी तक नहीं हुई है. नतीजा है कि बालू के उपभोक्ता दोगुने अथवा 3 गुने मूल्य पर बालू खरीद कर काम चला रहे हैं.

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