BBMKU में हंगामा, रिजल्ट के प्रकाशन के बाद B.Ed के छात्रों में नाराजगी, कुलपति के आश्वासन के बाद मामला हुआ शांत, देखिये यह रिपोर्ट


धनबाद(DHANBAD) | धनबाद का बिनोद बिहारी महतो कोयलांचल विश्वविद्यालय, शनिवार को तो विश्वविद्यालय को शनिचरा ग्रह ने घेर रखा था. छात्रों के प्रश्नों का जवाब किसी के पास नहीं था. नतीजा हुआ कि घंटो हंगामा होता रहा. लंबे संघर्ष के बाद इसकी स्थापना हुई, पुराने भवन से यूनिवर्सिटी धीरे-धीरे नए भवन में शिफ्ट हो रही है. लेकिन विवादों से इसका नाता टूट नहीं रहा है. शनिवार को छात्र-छात्राये कुलपति से मिलना चाहते थे. अपनी परेशानी बताना चाहते थे लेकिन उन्हें मिलने की अनुमति नहीं मिल रही थी. खूब नारेबाजी हो रही थी, छात्र और छात्राएं हाथ उठा -उठा कर नारेबाजी कर रहे थे. कुलपति ही थे उनके निशाने पर, स्थिति बिगड़ने के बाद पुलिस बुलानी पड़ी.
पुलिस पहुंची तब जाकर हो पाई बातचीत
पुलिस की मौजूदगी में कुलपति के साथ बात हुई और सकारात्मक आश्वासन मिला, तब जाकर मामला ठंडा हुआ. इसके पहले घंटों यूनिवर्सिटी में नारेबाजी होती रही. कुलपति सचिवालय तक छात्र पहुंच गए थे. दो मुद्दों को लेकर छात्रों का बड़ा विरोध था. शनिवार को B.Ed सेमेस्टर 2 का रिजल्ट जारी हुआ. इसके बाद तो हंगामा की शुरुआत हो गई. धनबाद व बोकारो के 26 बीएड कॉलेजों के 2285 छात्र-छात्राओं में से 1481 ही पास हो पाए. कई कॉलेजों के तो 50 फ़ीसदी बच्चे फेल कर दिए गए. इसके बाद से B .Ed के छात्र-छात्राओं ने विरोध शुरू कर दिया. दोपहर तक कई बीएड कॉलेजों के छात्र- छात्राएं विश्वविद्यालय मुख्यालय पहुंचकर हंगामा करने लगे. छात्र कह रहे थे कि उन्हें B .Ed सेमेस्टर 3 की परीक्षा फॉर्म भरने की अनुमति मिलनी चाहिए, इतना ही नहीं एक अन्य मामले को भी लेकर छात्र आक्रोशित थे. उनका कहना था कि स्नातक में एक मेजर के साथ दो जेनेरिक पेपर होना अनिवार्य है.
एक ही जेनेरिक पेपर की डिग्री का मामला भी उठा
लेकिन यहां सत्र 2016 - 2019 से लेकर सत्र 20-23 के बच्चों ने केवल एक जेनेरिक पेपर की डिग्री ली है. ऐसे में उनकी स्नातक की डिग्री को केंद्रीय विद्यालय सहित अन्य जगहों पर होने वाली नियुक्ति में मान्यता नहीं दी जा रही है. कुलपति ने दोनों मामले में सकारात्मक भरोसा छात्रों को दिया ,तब जाकर मामला कहीं शांत हुआ. विश्वविद्यालय अभी कई मामलों को लेकर चर्चा में है. झारखंड के कई विधायकों के निशाने पर भी है. अभी हाल ही में झारखंड मुक्ति मोर्चा विधायक मथुरा महतो ने कहा था कि विश्वविद्यालय को उड़िया की पढ़ाई शुरू करने की बहुत ही जल्द बाजी है लेकिन खोरठा, कुड माली को नजरअंदाज किया जा रहा है. हालांकि इस मामले पर कुलपति का अपना तर्क है, देखना है आगे होता है क्या है.
रिपोर्ट -धनबाद ब्यूरो
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