दुमका(DUMKA):प्रधानमंत्री के लोकप्रिय रेडियो कार्यक्रम 'मन की बात' का कल 30 अप्रैल रविवार को 100वां एपिसोड का संस्करण है. जिसको लेकर लोगों में काफी उत्साह है. इसके साथ ही इसको खास बनाने के लिए कॉन्क्लेव का आयोजन नई दिल्ली में किया जा रहा है. दुमका के शिक्षक डॉ सपन कुमार पत्रलेख को दिल्ली में चलने वाले सप्ताह भर तक के कार्यक्रम के लिए विशेष तौर पर आमंत्रित किया गया है. डॉ सपन देश के उन शख्सियतों में शामिल है, जिनकी चर्चा प्रधानमंत्री ने मन की बात रेडियो कार्यक्रम में किया है. इस मौके पर डॉ सपन पत्रलेख ने कहा कि देश के प्रधानमंत्री की ओर से जो सम्मान मिला है यह झारखंड के सभी लोगो के साथ राज्य के सभी शिक्षकों एवं विद्यार्थियो का सम्मान है.
डॉ सपन का पीएम ने मन की बात कार्यक्रम में किया था जिक्र
उन्होंने कहा कि एक ऐसे सुदूर ग्रामीण क्षेत्र के शिक्षक हैं. जहां विद्यालय जाने में कठिनाई होती है. आदिवासी बहुल्य दुमर्थर गांव में 99 प्रतिशत लोगों ने मैट्रिक या उच्च शिक्षा प्राप्त नहीं की है. इस क्षेत्र के बच्चों के लिए दुमका सबसे बड़ा शहर हुआ करता था. वे दिल्ली, जापान, अमेरिका को नहीं जानते थे. वैसी परिस्थिति में प्रधानमंत्री के एक भारत श्रेष्ठ भारत और बापू के सपनों का ग्राम स्वराज के सपना को इस गांव में पूर्ण करने का प्रयास डॉ सपन की ओर से ग्रामीणों के सहयोग से किया जा रहा है. कोविड 19 के शुरुआती दौर में डॉ सपन द्वारा शिक्षा के क्षेत्र में अभिनव प्रयोग ने बुलंदियों पर पहुंचा दिया.
कोरोना काल में डॉ सपन कुमार पत्रलेख ने जलाया था शिक्षा का अलख
याद कीजिए वर्ष 2020 का वो दौर जब कोरोना के कारण स्कूलें बंद कर दी गयी, सड़को पर वीरानी थी, बाजार बंद पड़े थे, क्योंकि सामाजिक दूरी का पालन करवाना था. ऐसी विकट परिस्थिति में डॉ सपन ने गांव के हर घर की दीवार को ब्लैक बोर्ड बना डाला. हर छात्र के लिए एक अलग ब्लैक बोर्ड का निर्माण सामाजिक दूरी को ध्यान में रख कर बनवाया गया. वो भी प्राकृतिक रंगों से, ग्रामीणों के सहयोग से. डस्टर, झाड़ू, चटाई की जरूरत हुई तो छात्रों और ग्रामीणों के सहयोग से गांव में ही निर्माण करवाया. आज इस विद्यालय के बच्चे अमेरिका, जापान को भी जानते हैं. बच्चे देश के साथ कदम से कदम मिलाकर भारत को श्रेष्ठ बनाने के लिए आगे बढ़ रहे हैं.
सभी दीवारों को बना डाला था ब्लैक बोर्ड
विदित हो कि कोरोना काल में लॉकडाउन के समय डॉ सपन ने समुदाय के सहयोग से गांव के सभी दीवारों पर ब्लैक बोर्ड बनाकर किताब के पाठों को लिखकर, चित्र बनाकर बच्चों की पढ़ाई जारी रखी थी. जिसकी चर्चा प्रधानमंत्री ने मन की बात कार्यक्रम में किया था.
100 विशेष अतिथि में दुमका के ड़ॉ सपन भी शामिल
नई दिल्ली के विज्ञान भवन में भारत के उपराष्ट्रपति ने मन की बात कॉनक्लेव का उद्घाटन किया. इस मौके पर सूचना प्रसारण मंत्री, रेल मंत्री, किरण बेदी, आमिर खान, रवीना टंडन एवं मन की बात में प्रधानमंत्री द्वारा देश के विभिन्न प्रदेशों के 100 विशेष अतिथि में दुमका के ड़ॉ सपन भी शामिल हुए. इस मौके पर टेबल कैफे बुक, डाक टिकट एवं सिक्का जारी किया गया. 30 अप्रैल को मन की बात के 100 वें एपिसोड के मौके पर राजभवन में होने वाले कार्यक्रम में भी वे शामिल होंगे.
रिपोर्ट: पंचम झा
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