65 सालों बाद लगी कॉलेज के संस्थापक की प्रतिमा , जानिए कौन थे प्रसन्ना कुमार राय


धनबाद (DHANBAD): धनबाद का पीके राय कॉलेज. विनोद बिहारी महतो कोयलांचल विश्वविद्यालय का प्रतिष्ठित कॉलेज. अभी हाल ही में कॉलेज ने 65 वां स्थापना दिवस मनाया है. इस स्थापना दिवस की खास बात यह रही कि कॉलेज के संस्थापक प्रसन्ना कुमार राय की प्रतिमा कॉलेज परिसर में लगी है. 65 साल बाद लगने के कारण इसे लेकर जितनी मुंह, उतनी बातें कहीं जा रही हैं. हालांकि कॉलेज अब प्रगति के पथ पर है. भवन आदि का निर्माण बड़े आकार में हुआ है.
बंगाल मूल के प्रसन्ना कुमार राय कतरास में रहते थे
आइए तो हम बताते हैं कि प्रसन्न कुमार राय कौन थे और कॉलेज की स्थापना उन्होंने धनबाद में क्यों की. वह बंगाल मूल के थे ,उनका परिवार कोयला खनन के पूर्व ही धनबाद के कतरास आ गया था. कतरास के केशलपुर रोड के बगल की सलारपुर कोलियरी उनकी थी. परिवार को शिक्षा से काफी प्रेम था. कतरास का बीके राय गर्ल्स स्कूल भी इके परिवार द्वारा स्थापित है. पहले प्रसन्न कुमार राय कतरास में ही कॉलेज स्थापित करना चाहते थे, लेकिन पत्नी के दबाव पर धनबाद में 11 एकड़ जमीन और कतरास में कॉलेज के लिए 40 एकड़ जमीन रजिस्टर्ड डीड के जरिए कॉलेज के नाम कर दी. आजादी के पहले यह कॉलेज कतरास में शुरू हुआ था, लेकिन 1957 में धनबाद में इस कॉलेज की स्थापना हुई और डीड में लिखित शर्तों के अनुसार उस समय इस कॉलेज को ए क्लास का कॉलेज बनाने के लिए ₹500000 का भुगतान भी मिला था.
कागजात की खोजबीन से पुरानी बातों का पता चला
प्राचार्य बीके सिन्हा ने बताया कि कॉलेज की जमीन कुछ एनक्रोच कर ली गई है, जब इसकी खोजबीन शुरू की गई तो पूरा डिटेल्स मिला. उसी के आधार पर उनके पर पोता, जो दिल्ली में रहते हैं ,उनसे संपर्क किया गया तो उन्होंने स्थापना दिवस में शामिल होने पर स्वीकृति दे दी और वह आये भी. आज कॉलेज धनबाद का ब्रांड बन गया है. वहीं, पढ़ाई कर रहे छात्र आलोक महतो का कहना है कि कॉलेज का वातावरण एवं एजुकेशन सिस्टम काफी अच्छा है. छात्रा तमन्ना गुप्ता ने कहा कि स्थापना दिवस के दिन काफी अच्छा महसूस हुआ और हमने तो कई प्रतियोगिताओं में हिस्सा भी लिया. उसी तरह छात्रा रितिका ने कहा कि हर साल स्थापना दिवस मनना चाहिए.
रिपोर्ट : शाम्भवी सिंह के साथ प्रकाश
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