रांची(RANCHI)- झारखंड सरकार के एक विभाग में ऐसा कांड हुआ है जिसमें करोड़ों रुपए अवैध तरीके से निकाल लिए गए हैं. अभी तक की जानकारी के अनुसार एक कर्मचारी ने इस करनामे को अंजाम दिया है.एक बड़ी कंपनी का भुगतान उसने अपने खाते में कर लिया है. करोड़ों रुपए का यह मामला है.
जानिए पूरे मामले को विस्तार से
झारखंड के पेयजल स्वच्छता विभाग में एक बड़ा घोटाला हुआ है. यहां लार्सन एंड टुब्रो कंपनी के नाम से निर्गत चेक की अवैध निकासी की गई है.ताजा जानकारी के अनुसार जो मामला सामने आया है उसके अनुसार पांच फर्जी आईडी बनाकर बैंक खातों में कंपनी के नाम से निर्गत चेक जमा कराकर पैसे निकाल लिए गए. ऐसे 5 चेक के बारे में छानबीन चल रही है. कार्यपालक अभियंता स्वर्णरेखा शीर्ष कार्य मंडल की शिकायत पर विभाग ने जांच कमेटी का गठन किया है.
विभाग ने क्या की है आगे की कार्रवाई
विभाग के संयुक्त सचिव पशुपतिनाथ मिश्रा की ओर से निर्गत पत्र के अनुसार स्वर्णरेखा शीर्षकारी मंडल रांची और लोहरदगा के कार्यपालक अभियंता की ओर से मिली शिकायत के आधार पर पुलिस थाने में एफआईआर भी दर्ज कराई गई है और एक पांच सदस्य कमेटी भी जांच कर रही है. इस संबंध में यह बताया गया है कि मार्च, 2020 में लार्सन एंड टूब्रो नामक कंपनी के भुगतान संबंधित दो चेक जो लगभग एक करोड़ 30 लाख रुपए के हैं,उसके संबंध में यह शिकायत मिली थी कि पैसे का भुगतान लार्सन एंड टुब्रो कंपनी को नहीं हुआ बल्कि इससे मिलते जुलते अकाउंट में पैसा ट्रांसफर हुआ है. आंतरिक तौर पर जब इसकी जांच की गई तो कैशियर संतोष कि यह कारगुजारी सामने आई है. उसके खिलाफ एफआईआर भी दर्ज कराई गई है. कैशियर संतोष के फरार होने की सूचना है. ऐसी आशंका जताई जा रही है कि पूर्व में निर्गत चार अन्य चेक भी जांच के दायरे में है उस संबंध में भी जानकारी ली जा रही है. इस मामले में अन्य लोगों की भी भूमिका की जांच हो रही है.
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