देवघर (DEOGHAR) : झारखंड सरकार ने स्थानीय स्टेक होल्डर्स और आमजनों से आगामी बजट पर सुझाव मांगा है. सरकार ने बजट को लोगों का बजट कहा है. सरकार ने बजट पोर्टल बनाकर उसपर जनता से सुझाव आमंत्रित किया है. संताल परगना चैम्बर ऑफ कॉमर्स एंड इंडस्ट्रीज देवघर ने प्री-बजट सुझाव प्रेषित किया है. चैम्बर अध्यक्ष आलोक मल्लिक और महासचिव प्रमोद छावछरिया ने माननीय मंत्री, वित्त और वाणिज्य कर विभाग, झारखण्ड सरकार को हमनी कर बजट पोर्टल पर सुझाव में देवघर और संताल परगना में उद्योग, पर्यटन, नगर विकास और उच्च शिक्षा पर कई बातें शामिल किया है और इस पर 2023-24 के बजट में वित्तीय प्रावधान की मांग रखी है.
उद्योग
1. राज्य के आगामी बजट में उद्योग विभाग का बजटीय प्रावधान पिछले वर्ष की अपेक्षा कम से कम दुगुना किया जाय ताकि राज्य में उद्योगों का त्वरित विकास हो सके.
2. देवघर सहित पूरे संताल परगना क्षेत्र को थ्रस्ट और पहाड़ी क्षेत्र घोषित कर उद्योग एवं व्यवसाय में लागू टैक्स एवं शुल्कों में गोवा और पूर्वोत्तर राज्यों की तरह टैक्स मुक्त अथवा अतिरिक्त कर रियायतें देकर यहां निवेशकों को आकर्षित करने की योजना बनायी जाय.
3. जियाडा (संताल परगना क्षेत्र) के लगभग सभी औद्योगिक क्षेत्र पूर्णतः अविकसीत हैं. अतः वर्तमान औद्योगिक क्षेत्रों में मूलभूत सुविधाओं विशेषकर पहुंच पथ, बाउंड्री और डिमार्केशन, सड़क, नाला और स्ट्रीट लाइट के कार्य के लिए बजट में अतिरिक्त राशि का प्रावधान किया जाय.
4. इसके साथ ही देवघर-दुमका रोड के किनारे तथा गोविन्दपुर-साहिबगंज राष्ट्रीय उच्च पथ के किनारे नए और बड़े औद्योगिक क्षेत्र बनाने के लिए आवश्यक पहल करते हुए बजट में राशि निर्धारित किया जाय.
5. सूक्ष्म और लघु उद्योग रोजगार और आर्थिक विकास का स्तंभ होता है। झारखण्ड में इसके पर्याप्त विकास के लिए इस बार बजट में प्रत्येक जिले में एक डेडीकेटेड एमएसई इस्टेट (माइक्रो एंड स्माॅल उद्योग क्षेत्र) बनाने की घोषणा हो जिसके अंतर्गत 25 से 50 एकड़ जमीन चिन्हित कर वहां सूक्ष्म और लघु उद्यमों के लिए 2000, 5000 और 10000 वर्गफीट के शेड बनाकर उद्यमियों को आवंटित किया जाय। देखा जाता है कि जमीन और भवन हासिल करने में भारी कीमत और जटिलता के कारण लघु उद्योग नहीं लग पाता है.
6. देवघर में प्रस्तावित अल्ट्रा मेगा पावर प्रोजेक्ट के काम को गति दिया जाय और इसके लिए भूमि अधिग्रहण एवं राज्य के हिस्से के अन्य खर्चों के लिए बजट में राशि निर्धारित किया जाय.
7. धार्मिक क्षेत्र विकास के लिए बैद्यनाथ सर्किट बनाकर देवघर, बासुकीनाथ, मलूटी, शिवगादी आदि संप के प्रमुख धार्मिक स्थलों को शामिल कर संताल परगना को धार्मिक पर्यटन के क्षेत्र में समृद्ध बनाने के लिए पर्यटन बजट में उचित स्थान दिया जाय.
नगर विकास
8. देवघर में बढ़ते व्यावसायिक गतिविधियों के मद्देनजर एक ट्रान्सपोर्ट नगर की सख्त जरूरत है. देवघर में नवनिर्मित अंतर्राज्यीय बसअड्डा के समीप ही लगभग 10 एकड़ खाली सरकारी जमीन पर पूर्ण सुविधाओं युक्त डेडीकेटेड ट्रान्सपोर्ट नगर बनाने के लिए बजट में राशि निर्धारित किया जाय.
9. देवघर के पुराना मीना बाजार (सब्जी बाजार) को पूर्णोद्धार कर उसके स्थान पर नये सिरे से मल्टी स्टोरी वेण्डिंग मार्केट बनाने के लिए बजट में राशि निर्धारित किया जाय. इसके अलावे देवघर में सार्वजनिक पार्किंग, टैम्पु स्टेंड, फुटपाथ बाजार, चौक-चौराहों के सौन्दर्यीकरण आदि के लिए नगर विकास के बजट में अतिरिक्त राशि का प्रावधान किया जाय.
उच्च शिक्षा
10. देवघर में एम्स, एसटीपीआई, प्लास्टिक पार्क, औद्योगिक क्षेत्रों में बढ़ते गतिविधियों को देखते हुए यहां एक स्कील डेवलपमेन्ट यूनिवर्सिटी की स्थापना करने की दिशा में प्रयास शुरू किया जाय.
11. उच्च शिक्षण के क्षेत्र में पर्याप्त विकास के लिए यहां निफ्ट, इंजीनियरिंग काॅलेज, संस्कृत विश्वविद्यालय की स्थापना और देवघर काॅलेज को विश्वविद्यालय में परिणत किये जाने की जरूरत है. अतः उच्च शिक्षा में देवघर को इसके लिए पर्याप्त बजट राशि मिले.
12. देवघर के कुमैठा स्थित खेल परिसर (स्टेडियम) को उच्च स्तरीय खेल प्रशिक्षण केन्द्र और स्टेडियम के रुप में विकसित किया जाय. खेल बजट में इसका प्रावधान किया जाय।
चैम्बर ने आशा व्यक्त किया है कि सरकार उपरोक्त मांगो को बजट में शामिल कर देवघर और संप के विकास को आगे बढ़ाएगी.
रिपोर्ट : रितुराज सिन्हा, देवघर
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