टीएनपी डेस्क (TNP DESK) : यूपीएससी सिविल सेवा परीक्षा में एक गलती ने दो लोगों की जिंदगियों का निर्णय अटका दिया है. किसी भी परीक्षा में विद्यार्थियों को रोल नंबर दिया जाता है जिसके आधार पर उनका पेपर जांच होता है. हर विद्यार्थी का अपना अलग-अलग रोल नंबर होता है. ताकि किसी भी विद्यार्थी को पहचानने में कोई समस्या ना हो. मगर सिविल सेवा परीक्षा में जो हुआ उससे अब हर कोई हैरान है. परीक्षा में 44 रैंक हासिल करने वाले तुषार कुमार को लेकर असमंजस की स्थिति पैदा हो गई है, दरअसल एक तुषार कुमार रेवाड़ी के रहने वाले हैं और दूसरे तुषार कुमार बिहार के भागलपुर जिले के रहने वाले हैं. दोनों ही तुषार कुमार ने यूपीएससी की परीक्षा दी थी अब दोनों तुषार कुमार इस बात को लेकर असमंजस में है कि आखिरकार परीक्षा उन दोनों में से किसने उत्तीर्ण की है.
एक रोल नंबर और दो विद्यार्थी
यूपीएससी ने सिविल सर्विसेज परीक्षा का मंगलवार को ही रिजल्ट जारी कर दिया था प्रवेश परीक्षा के रिजल्ट में 44 वां स्थान तुषार कुमार का है यूपीएससी की तरफ से परीक्षा उत्तीर्ण करने वाले विद्यार्थियों की जो सूची जारी की गई है उसमें रोल नंबर और नाम ही है. 44 वें स्थान पर रोल नंबर 1521306 है और नाम तुषार कुमार दिया गया है. अब अहम बात यह है कि यही रोल नंबर और नाम रेवाड़ी और भागलपुर दोनों के तुषार कुमार के प्रवेश पत्र पर है.
हरियाणा के तुषार का दावा
हरियाणा के रहने वाले एक तुषार कुमार ने दावा कर दिया है कि वही वह तुषार है जिसे यूपीएससी में 44 वां रैंक आया है. रेवाड़ी के मोहल्ला सती कॉलोनी निवासी तुषार के माता-पिता का देहांत हो चुका है. स्वर्गीय ब्रज मोहन सैनी के पुत्र तुषार ने दावा करते हुए अपना प्रवेश पत्र भी दिखाया है. जिसमें वही रोल नंबर अंकित है जो बिहार के तुषार के प्रवेश पत्र में है.
बिहार के भागलपुर के तुषार का दावा
भागलपुर के तुषार ने बताया कि यूपीएससी में उन्हें ही सफलता मिली है और जो हरियाणा का तुषार दावा कर रहा है वह पूरी तरह भ्रामक है. बिहार के तुषार कुमार ने कहा कि उन्होंने हरियाणा के तुषार से फोन पर बात की है और कहा है कि वह क्यों भ्रम फैला रहा है. बिहार निवासी तुषार ने दावा किया है कि हरियाणा के तुषार का एडमिट कार्ड जाली है. उसे एडिट करके बनाया गया है और उसमें यूपीएससी का वाटर मार्क भी नहीं है.
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