पटना(PATNA): बिहार विधानमंडल का शीतकालीन सत्र समाप्त होते ही सोमवार को विधानसभा और विधान परिषद को अनिश्चितकाल के लिए स्थगित कर दिया गया है. बता दें कि अंतिम दिन भी सदन हंगामे, शोर-शराबे और वेल में नारेबाजी और आरोप-प्रत्यारोप की भेंट चढ़ गया. अंतिम दिन भी छपरा में जहरीली शराब से लोगों की मौत के मामले को लेकर विपक्ष सरकार को घेरता रहा. इस बीच आज ही बिहार विधानसभा का शीतकालीन सत्र अनिश्चितकाल के लिए समाप्त कर दी गई. इस दौरान बिहार विधान परिषद के सभापति देवेश चंद्र ठाकुर ने बताया कि बिहार विधान परिषद के 202वें सत्र में पांच बैठक हुई. जिसमें कुल 448 प्रश्नों की सूचनाएं प्राप्त हुई. जिनमें से 389 प्रश्नों की स्वीकृत किया गया, 309 प्रश्न के उत्तर ऑनलाइन प्राप्त हुए, जो लगभग 80% है.
वहीं, वर्तमान सत्र की लंबित प्रश्नों को आगामी सत्र में सदन की मेज पर रखने के लिए सरकार से अनुशंसा भी की. बता दें कि वर्तमान के लिए ध्यानाकर्षण की कुल 62 सूचनाएं प्राप्त हुई. जिनमें 27 सूचनाएं स्वीकृत हुई, 5 व्यपगत सूचनाएं हुई, सूचनाओं के उत्तर ऑनलाइन प्राप्त हुए शेष सूचनाएं प्रश्न और ध्यानाकर्षण समिति को सुपुर्द की गई और व्यपगत की गई. वहीं, शून्यकाल के लिए कुल 24 सूचनाएं प्राप्त हुई, जिनमें कई सूचनाएं स्वीकृत हुई. 14 सूचनाएं व्यपगत हुईं.
सभापति ने बताया कि शीतकालीन सत्र 5 दिनों तक चला, जिसमें कुल 7 विधेयक को मंजूरी दी गई. बिहार विशेष न्यायालय संशोधन विधेयक 2022, के अलावा बिहार लोकायुक्त संशोधन विधेयक 2022, बिहार माल एवं सेवा कर संशोधन विधेयक 2022, बिहार अधिकारी 8990 विधायक 2012, बिहार तकनीकी सेवा आयोग संशोधन विधेयक 2022, बिहार नगर पालिका संशोधन विधेयक 2022 और बिहार विनियोग संख्या चार विधायक 2022 को पारित किया गया. इस दौरान सभापति ने सभी माननीय को धन्यवाद भी दिया कि उन्होंने इतना महत्वपूर्ण समय सदन को दिया और लोकगीत के कार्यों में अपनी भागीदारी निभाई.
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