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अडाणी समूह से प्रधानमंत्री मोदी की यारी! 13 मार्च को कांग्रेस का राजभवन घेराव, देखिये कांग्रेस क्यों कर रही है जेपीसी जांच की मांग

अडाणी समूह से प्रधानमंत्री मोदी की यारी! 13 मार्च को कांग्रेस का राजभवन घेराव, देखिये कांग्रेस क्यों कर रही है जेपीसी जांच की मांग

रांची(RANCHI)-आगामी 13 मार्च को कांग्रेस की ओर से राजभवन का घेराव करने की घोषणा की गई है, झारखंड कांग्रेस अध्यक्ष राजेश ठाकुर ने कहा है कि इस घेराव के माध्यम से हम अडाणी समूह से प्रधानमंत्री की यारी को देश और राज्य की जनता के सामने लाने का काम करेंगे. जिससे कि राज्य की जनता को इस लूट की जानकारी मिल सके.  

जेपीसी जांच से भाग रही है भाजपा

राजेश ठाकुर ने कहा है कि कांग्रेस और कई विपक्षी दलों की शुरु से इस मुद्दे पर जेपीसी गठित करने की मांग रही है. लेकिन भाजपा जेपीसी जांच के लिए तैयार नहीं है, वह इससे पिंड छुड़ाना चाहती है. लेकिन कांग्रेस इस मुद्दे को छोड़ने वाली नहीं है, क्योंकि एक अडाणी को आगे बढ़ाने के लिए एलआईसी और एसबीआई का पैसा अडाणी समूह की कंपनियों में लगाया गया, ये सारा पैसा देश के मध्यम वर्ग का था, अडाणी के डूबने के साथ ही अडाणी समूह में लगाया गया एलआईसी और एसबीआई का पैसा भी डूब गया. हम गरीबों और मध्यम वर्ग की इस गाढ़ी कमाई को यों ही डूबने के लिए नहीं छोड़ सकतें. देश और राज्य की जनता तो यह जानने का पूरा हक है कि उनकी गाढ़ी कमाई को कौन डूबा रहा है.

क्या है जेपीसी समिति

यहां बता दें कि जेपीसी संसद की वह समिति होती है, जिसमें सभी पार्टियों की समान भागीदारी होती है. जेपीसी की समिति को यह अधिकार होता है कि वह किसी भी व्यक्ति और संस्था को पूछताछ के लिए अपने समक्ष बुला सकती है.  यदि वह व्यक्ति या  संस्था अपना पक्ष रखने के लिए जेपीसी के समक्ष उपस्थित नहीं होता है तो इसे संसद की अवमानना माना जाता है.

अब तक किन-किन मुद्दों की जांच के लिए गठित हुई है जेपीसी

हम यहां बता दें कि 1987 में पहली बार जेपीसी का गठन बोफोर्स घोटाले की जांच के लिए की गयी थी. फिर 1992 में प्रतिभूति और बैंकिंग मामलों में अनियमितताओं की जांच के लिए इसका गठन हुआ था, इसके बाद 2001 में स्टॉक एक्सचेंज और 2003 में शीतल पेयों में कीटनाशकों की मौजूदगी के आरोपों की जांच के लिए जेपीसी का गठन हुआ था.

 क्या है कांग्रेस की रणनीति  

यहां बता दें कि इसमें से अधिकतर मामले में जेपीसी जांच की मांग भाजपा के द्वारा ही की गयी थी, जेपीसी की जांच काफी लम्बे वक्त तक चलती है, और जब तक  जांच चलती है, मामला सुर्खियों में बना रहता है. अब कांग्रेस भी उसी रास्ते पर चलकर अडाणी प्रकरण में जेपीसी जांच की मांग कर भाजपा के सामने मुश्किल खड़ा करना चाह रही है.  

Published at:05 Mar 2023 04:01 PM (IST)
Tags:Prime Minister Modi's friendship with Adani GroupRaj Bhavan siege of CongressRajbhawan Gherav of congressRajesh thakur congress Adani samuh pm modi
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