धनबाद(DHANBAD) | राजभवन ने झारखंड के सभी विश्वविद्यालयों पर शिकंजा कसना शुरू कर दिया है. अब उन्हें हर महीने की 5 तारीख को खर्च का ब्यौरा राजभवन को भेजना होगा. यह अलग बात है कि यह व्यवस्था बनवाने में धनबाद के बिनोद बिहारी महतो कोयलांचल विश्वविद्यालय की बड़ी भूमिका है. इस विश्वविद्यालय में अलग से डेवलपमेंट फंड खोल लिया गया था. इसके लिए बैंक में अकाउंट खोला गया था. इसे नियम विरुद्ध बताते हुए राजभवन ने तत्काल बंद करने का आदेश दिया था. साथ ही ऐसा क्यों किया गया, इसके लिए कुलपति से स्पष्टीकरण भी मांगा था.
और विश्वविद्यालयों से भी मिल रही थी शिकायतें
यह भी जानकारी है कि हाल ही में विनोबा भावे विश्वविद्यालय, हजारीबाग, रक्षा शक्ति विश्वविद्यालय, कोल्हान विश्वविद्यालय में भी गड़बड़ी की शिकायतें राजभवन को प्राप्त हुई थी. इसके बाद यह व्यवस्था लागू की गई है. झारखंड के सभी विश्वविद्यालयों में वित्तीय अनुशासन बनाने के लिए राजभवन अब सक्रिय हुआ है. संभवत पहली बार ऐसा हो रहा है. विश्वविद्यालय के मामले को लेकर राजभवन रिपोर्ट मांग रहा है. राज्यपाल के निर्देश पर उनके प्रधान सचिव ने सभी विश्वविद्यालय के कुलपति को पत्र भेजकर कहा है कि विश्वविद्यालय में किए जा रहे खर्च का मासिक प्रतिवेदन राजभवन को प्रत्येक महीने की 5 तारीख को जरूर उपलब्ध करा दे. इसके लिए फॉर्मेट भी जारी किया गया है.
कोयलांचल विश्वविद्यालय जन्म लेने के साथ ही विवादों से घिर गया
धनबाद का कोयलांचल विश्वविद्यालय जन्म लेने के साथ ही विवादों से घिर गया है. छात्र से लेकर टीचर तक लगातार तरह-तरह के आरोप लगा रहे है. हाल ही के दिनों में खुलासा हुआ है कि बिनोद बिहारी महतो कोयलांचल विश्वविद्यालय में अलग से बिना किसी की अनुमति के डेवलपमेंट फंड अकाउंट खोल लिया गया था. इस अकाउंट में कई कॉलेजों सहित टीचरों से भी पैसे जमा कराने की शिकायत आ रही थी. छात्रों का आंदोलन जब शुरू हुआ तो यह सब बातें परत दर परत सामने आने लगी. छात्रों ने यह भी आरोप लगाया कि जानबूझकर उन्हें परीक्षा में फेल किया जा रहा है. उसके बाद कोयलांचल विश्वविद्यालय में आकर उच्च स्तरीय टीम ने जांच पड़ताल की और उसकी रिपोर्ट दी. उसके बाद शायद यह व्यवस्था बनी है कि झारखंड के हर एक विश्वविद्यालय को अपने खर्च का ब्यौरा महीने की 5 तारीख तक राजभवन को देनी होगी.
रिपोर्ट -धनबाद ब्यूरो