धनबाद(DHANBAD): सितंबर में तो राहत की घोषणा लेकिन क्या यह राहत अगले साल फरवरी आते आते काफूर हो जाएगी.यह सवाल झारखंड राज्य विद्युत नियामक आयोग के हालिया फैसले से उठा है.इस दुर्गा पूजा झारखंड के बिजली उपभोक्ताओं को तो बड़ी राहत की घोषणा हुई है. राज्य में इस वर्ष बिजली की दरों में कोई बढ़ोतरी नहीं की जाएगी. घरेलू , औद्योगिक संस्थानों को वहीं बिजली बिल का भुगतान करना पड़ेगा, जो वह अभी दे रहे हैं. यह फैसला झारखंड राज्य विद्युत नियामक आयोग ने लिया है.
बिल बनने के 5 दिनों के अंदर बिल का भुगतान किया तो मिलेगी दो फ़ीसदी की छूट
यह अलग बात है कि झारखंड बिजली वितरण निगम लिमिटेड ने 30% से अधिक दर बढ़ाने का प्रस्ताव दिया था. लेकिन आयोग ने इसे मंजूरी नहीं दी. जानकारी के अनुसार पहली अप्रैल को बिजली दरों में बढ़ोतरी हुई थी. ऐसे में अभी दर बढ़ाने का कोई औचित्य नहीं बताया गया है. अगले साल फरवरी में दर पर विचार किया जा सकता है. इसके साथ ही आयोग ने बिजली उपभोक्ताओं को कई तरह की छूट देने का फैसला किया है. इसके तहत कोई भी उपभोक्ता बिल बनने के 5 दिनों के अंदर बिल का भुगतान करता है तो उसे दो फ़ीसदी की छूट दी जाएगी. ऑनलाइन या डिजिटल मोड में नियत तिथि के भीतर पूरी राशि देने पर एक प्रतिशत की छूट मिलेगी. छूट की अधिकतम सीमा 250 रुपए होगी. इसके पहले झारखंड सरकार ने 200 यूनिट बिजली फ्री देने का निर्णय लिया था. इससे एक तबके को बड़ी राहत मिली थी. लेकिन जिनके घरों में 200 यूनिट से अधिक बिजली की खपत है, वह यह सोचकर परेशान थे कि उन पर लोड बढ़ाया जाएगा. लेकिन फिलहाल ऐसा कुछ हुआ नहीं है.
फरवरी में फिर बढ़ सकती है बिजली दर
अब फरवरी में बिजली दर पर विचार किया जा सकता है. निश्चित रूप से फरवरी में बिजली की दर बढ़ सकती है. यह अलग बात है कि झारखंड में बिजली संकट से उपभोक्ता परेशान हैं. निर्वाध बिजली तो झारखंड के लोगों के लिए सपना हो गया है. हर दूसरे से तीसरे घर में इनवर्टर लगे हुए हैं. उपभोक्ताओं पर बिजली बिल के अलावे इनवर्टर का खर्च पड़ता है. कोयलांचल की बात की जाए तो यहां के आम और खास, उद्योगपति अथवा कारोबारी सभी बिजली को ले परेशान है. लोग तो अब यह कहने लगे हैं कि उन्हें लगता ही नहीं है कि वह शहर में रहते हैं.जो भी हो लेकिन कुछ लोग इसे चुनाव से जोड़ कर भी देख रहे है.
रिपोर्ट: धनबाद ब्यूरो