रांची- कोल इंडिया की कंपनी सीसीएल में वर्षों पहले नियुक्ति घोटाला हुआ था. यह घोटाला 1995 में हुआ था. कुल 28 लोग फर्जी तरीके से बहाल किए गए थे.जमीन के बदले कंपनी में नौकरी के प्रावधान के तहत दो चरणों में कुल 28 लोगों को पिपरवार प्रोजेक्ट के अंतर्गत नौकरी दी गई थी.सभी के सभी नियुक्त हुए कर्मचारी फर्जी दस्तावेज के आधार पर आ गए थे.जब इसका भंडाफोड़ हुआ तब सीबीआई ने इसकी जांच शुरू की.
जानिए इस पूरे मामले को विस्तार से
पिपरवार प्रोजेक्ट के अंतर्गत इस गंभीर मामले की जांच में काफी समय लग गया. लेकिन कुल 28 लोगों के खिलाफ चार्जशीट दाखिल की गई थी. इस मामले में तीन अभियुक्त सरकारी गवाह बन गए थे. शुक्रवार को सीबीआई कोर्ट ने तत्कालीन महाप्रबंधक हरिद्वार सिंह समेत 23 लोगों को सजा सुनाई है. हरिद्वार सिंह को 50000 रुपए का जुर्माना लगाया गया है. बाकी 22 लोगों को 2-2 हज़ार रुपए का जुर्माना लगाया गया है. जिस समय इस फर्जी नियुक्ति मामले का खुलासा हुआ. उसके बाद प्रबंधन ने इन्हें हटा दिया था लेकिन घोटाला का मुकदमा चल रहा था.