रामगढ़(RAMGARH): रामगढ़ विधानसभा उपचुनाव में चुनाव प्रचार अपने चरम पर पहुंच रहा है. चुनाव प्रचार में सभी लोग लगे हुए हैं. यूपीए के नेता हों या एनडीए के नेता, सभी लोग भरसक प्रयास कर रहे हैं कि लोगों तक पहुंच कर उनसे समर्थन यानी वोट मांगें. लेकिन एक खास विषय इस चुनाव में बहुत चर्चा में है. रामगढ़ विधानसभा उपचुनाव में ममता देवी की सदस्यता जाने के बाद उनके पति चुनाव मैदान में हैं. कांग्रेस प्रत्याशी के रूप में बजरंग महतो जगह-जगह पर जाकर वोट मांग रहे हैं. ममता देवी फिलहाल जेल में हैं लेकिन उनका मासूम बच्चा इसमें चुनावी चर्चा में बना हुआ है. बजरंग महतो जहां कहीं भी जा रहे हैं वहां आपने इस मासूम बच्चे को जरूर ले जा रहे हैं. जाहिर सी बात है मां नहीं तो पिता का साथ तो होना ही चाहिए.
मासूम बच्चा भी एक चर्चा का विषय
इस मासूम बच्चे की मां जेल में है. एक भावनात्मक दृश्य उत्पन्न हो जाता है. जब बजरंग महतो अपने मासूम बच्चे को चुनाव प्रचार के दौरान लाते हैं. खासतौर पर महिला मतदाताओं पर इसका असर देखा जा रहा है. चुनाव प्रचार के दौरान यह कहा जा रहा है कि आज यह बच्चा ममता की छांव से दूर इसलिए है कि कहीं न कहीं कथित रूप से जन आंदोलन करते हुए उन्हें टारगेट करके जेल भिजवाया गया है. रविवार को मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन भी गोला में चुनाव प्रचार के लिए गए. उन्होंने अपनी गोद में इस मासूम बच्चे को उठा लिया. यह इस बात का द्योतक है कि इस उपचुनाव में राजनीतिक आरोप-प्रत्यारोप के बीच यह मासूम बच्चा भी एक चर्चा का विषय बना हुआ है. रामगढ़ के लोगों का कहना है कि बच्चे को देखकर लोगों का दिल पिघल जाएगा, ऐसा कांग्रेस और सत्ता पक्ष के लोगों का मानना है. यह एक भावनात्मक माहौल पैदा करने का प्रयास है.
क्या कहते हैं आजसू और भाजपा के नेता
प्रबुद्ध जन कहते हैं कि चुनाव में इस तरह के विषय नहीं उठने चाहिए पर लोग उठाते ही हैं. लोगों के बीच स्थानीय मुद्दे हों या राज्य स्तरीय, वे मुद्दे होने चाहिए. स्पष्ट रूप से यह लग रहा है कि रामगढ़ विधानसभा चुनाव में इस मासूम बच्चे की मौजूदगी बेहद आकर्षण का केंद्र है. आजसू और भाजपा के नेताओं का कहना है कि सरकार के खिलाफ जो जनमानस में माहौल है वही इस क्षेत्र के मतदाताओं पर ज्यादा प्रभाव डाल रहा है. लोग विकास को महत्व दे रहे हैं. राज्य सरकार की वादाखिलाफी को याद रख रहे हैं. इसलिए एनडीए प्रत्याशी की जीत होगी होगी. कोई अन्य फैक्टर यहां पर काम करने वाला नहीं है. भावनात्मक विषय से लोग मुगालते में नहीं आने वाले हैं. एनडीए की ओर से सुनीता चौधरी चुनाव लड़ रही हैं.