गिरीडीह(GIRIDIH):बीते 14 मई को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के गिरिडीह और कोडरमा संसदीय क्षेत्र की जनता को संबोधित करने के बाद दोनों क्षेत्रों में महिलाएं प्रत्याशियों के जीत और हार का निर्णायक बन गई है.बताया जाता है कि जिनके पक्ष में भी महिलाओं का मत पड़ेगा, उसी प्रत्याशी की जीत संभव है.हालांकि गिरिडीह लोकसभा क्षेत्र के ग्रामीण इलाकों में हर एक पार्टियों का अपना-अपना जनाधार है, लेकिन लोकसभा के चुनाव में अधिकतर महिलाएं मोदी को ही वोट करती है, जहां तक पढ़े-लिखे आदिवासियों की बात करें तो आदिवासी समाज भी इन दिनों समझदार हो गया है और पुरुषों का मत कुछ अलग हो सकता है, लेकिन महिलाएं केंद्र की योजना से लाभान्वित होकर अपने पिछले जीवन के वर्षों को याद करते हुए मोदी को ही अपना नेता मानती है.
पढ़ें दोनो सीटों का चुनावी समीकरण
हालांकि उम्मीदवार कोई भी हो फिलहाल गिरिडीह में झारखंड मुक्ति मोर्चा के मथुरा महतो , निवर्तमान सांसद और एनडीए के प्रत्याशी चंद्र प्रकाश चौधरी तथा जेबीकेएस के जयराम महतो जमकर अपने-अपने पक्ष में वोटरों को रूझानो में लगे हुए हैं. वही जयराम महतो युवा चेहरा होने की वजह से एनडीए और इंडिया गठबंधन के प्रत्याशी को कड़ा टक्कर दे सकते हैं, क्योंकि युवा वोटर के साथ-साथ ग्रामीण इलाकों में आदिवासी सहित महतो और मुस्लिम बहुल्य क्षेत्रो में जयराम महतो के प्रति गजब का उत्साह देखा जा रहा है और स्थानीय युवक अपने-अपने खर्चों से जयराम महतो का प्रचार करते दिख रहे हैं, तो वहीं अन्य प्रत्याशियों को गांव में घुसने पर विरोध सहना पड़ रहा है. जिसको देखकर चाहे एनडीए प्रत्याशी सीपी चौधरी हो या इंडिया गठबंधन के मथुरा महतो हो , दोनो दिग्गजो को अंदर ही अंदर वोट कटने के डर सता रहा है. इसी डर को हटाने के लिए झामुमो कांग्रेस तथा वामपंथी दल अपने कर वोटरों को बिछड़ने से रोकने के लिए तरह-तरह के प्रयास में जुड़े हुए हैं.
महिला वोटर ही करेंगी इन दोनों सीटों के प्रत्यासियों के भाग्य का फैसला
वही बीजेपी और आजसु के वोटर मौन होकर चुपचाप तमाशा देख रहे है और कोडरमा में 20 मई और गिरिडीह में 25 मई को साफ हो जाएगा कि वास्तविकता क्या है, तो वहीं 4 जून को यह पता चल पाएगा कि कोडरमा और गिरिडीह लोकसभा क्षेत्र से किस प्रत्याशी का भाग्य का फैसला यहां के वोटरों ने किया है.फिर भी जिस तरह से महिलाएं की केन्द्र की योजनाओं की चर्चा करते दिख रही है और मोदी के प्रति समर्पित दिख रही है,इससे साफ प्रतित होता है कि महिलाएं इस बार फिर से जीत और हार का निर्णायक बन सकती है.अब देखना होगा कि गिरिडीह और कोडरमा लोकसभा क्षेत्र में महिला वोटर किसे जीत का सेहरा पहनाती है.
रिपोर्ट: दिनेश कुमार