धनबाद(DHANBAD) : विधानसभा चुनाव में टिकट को लेकर इंडिया गठबंधन में रायता फैला हुआ है. तो एनडीए में भी रूठने और मनाने का सिलसिला चल रहा है. वैसे हर चुनाव में इस तरह की बातें होती है. लेकिन 2024 का चुनाव कुछ खास है, इसलिए खास तरह से रूठना और मनाने का क्रम भी चल रहा है. टिकट बंटवारे को लेकर इंडिया ब्लॉक में बात अभी बनी नहीं है. यह अलग बात है की, जैसी की चर्चा है झारखंड में वाम दल, राजद को आगे कर अपनी सीट बढ़ाने की कोशिश में लगे हुए है. हेमंत सोरेन ने दो दिन पहले घोषणा की थी कि झामुमो और कांग्रेस झारखंड में 70 सीटों पर चुनाव लड़ेंगे और 11 सीट सहयोगी दलों को दी जाएंगी. राजद इस पर तैयार नहीं है.
वाम दल तो अभी मुंह खोल नहीं रहे है , लेकिन राजद मुखर हो गया है. राजद का कहना है कि वह भाजपा को हराने के लिए प्रतिबद्ध है. लेकिन सीट सम्मानजनक मिलनी चाहिए. कम से कम 12 सीट झारखंड में राजद मांग रहा है. इसको देखते हुए झामुमो और कांग्रेस सहम -सहम कर कदम उठा रहे है. राजद 2019 के चुनाव में 7 सीटों पर चुनाव लड़ा था और एक सीट जीत पाया था. दरअसल, इंडिया गठबंधन में दो घटक साफ-साफ दिखाई दे रहे है. झारखंड मुक्ति मोर्चा का सहयोग कांग्रेस कर रही है तो राजद का सहयोग वाम दल कर रहे है.
झामुमो में प्रत्याशियों की सूची रविवार को जारी नहीं हो सकी. उसकी वजह सीट बंटवारे को लेकर चल रहा विवाद बताया गया है. आज अंतिम प्रयास हो सकता है. सूत्र बता रहे है कि अंतिम समय में बात बन जाएगी. राजद और वाम दल चाहते है कि दवाब से अगर कुछ सीटें बढ़ जाए तो हर्ज ही क्या है. 2019 के चुनाव में राजद को चतरा, बरकट्ठा, हुसैनाबाद, छतरपुर, कोडरमा, देवघर और गोड्डा सीट मिली थी. इस बार वह इनके अलावा बिश्रामपुर मणिका लातेहार, जमुआ और पांकी भी चाहता है. वाम दाल भी 15 सीट मांग रहा है. लेकिन इंडिया गठबंधन माले को तीन से चार सीट देने पर सहमत है. देखना दिलचस्प होगा कि किन रानीतिकारो की रणनीति सफल होती है.
रिपोर्ट -धनबाद ब्यूरो