धनबाद(DHANBAD): धनबाद के SNMMCH में मध्य प्रदेश के ग्वालियर के छात्र से पांच लाख नहीं बल्कि 11 लाख रुपए की ठगी की गई है. सरायढेला थाने में मुकदमा होने के बाद पुलिस ने अस्पताल के सीसीटीवी को खंगाला है. 12 नवंबर को सीसीटीवी फुटेज में दो ठग दिख तो रहे हैं लेकिन उनकी पहचान नहीं की जा सकी है. इस मामले में पुलिस ने ईएनटी विभाग के 3 कर्मचारियों से भी पूछताछ की है. लेकिन पुलिस को कोई ठोस जानकारी नहीं हाथ लगी है. SNMMCH में एमबीबीएस में नामांकन के नाम पर ग्वालियर के रहने वाले एसएन बोनिया ठगी के शिकार हुए है.
12 लाख लेकर ठगो ने नामांकन का दिया था भरोसा
ठगों ने उनके बेटे के नामांकन के नाम पर 11 लाख रुपए लिए है. ठगो ने बोनिया को अपना नाम संदीप, मयंक और नागेंद्र बताया था. बोनिया के अनुसार, 12 लाख रुपए में नामांकन की बात हुई थी. इसमें छह लाख 12 नवंबर को ENT विभाग के कमरा नंबर 76 में तो 2.40 लाख अगले दिन धनबाद गेस्ट हाउस के पास और 1.2 लाख उसके अगले दिन ठगो ने लिए. यह पैसा नगद लिए थे. बाकी पैसा 3 जनवरी को ₹30000 फोन पे पर भेजने के बाद ठगों का मोबाइल बंद हो गया. इसके बाद बोनिया अपनी पत्नी और बेटे के साथ अस्पताल पहुंचे और नामांकन की जानकारी ली. तब जाकर ठगी का मामला सामने आया.
सरायढेला थाना में दर्ज हुआ है मुक़दमा
ठगी का मुकदमा उन्होंने सरायढेला थाना में किया. 12 नवंबर को पुलिस ने जब सीसीटीवी फुटेज खंगाला तो गायनी विभाग के रास्ते दो लोग भुक्तभोगी परिवार को ओपीडी बिल्डिंग में ले जाते दिखे. थोड़ी देर बाद यह लोग बाहर निकलते भी दिख रहे हैं. हालांकि अस्पताल के किसी कर्मी ने उनकी पहचान नहीं की है. इसी मामले में ENT विभाग के 3 कर्मचारियों से भी पुलिस ने थाने बुलाकर पूछताछ की है. पुलिस यह जानने की कोशिश कर रही है कि फुटेज में दिखने वाले दोनों लोगों को कर्मी पहचानते हैं अथवा नहीं. लेकिन कर्मियों ने पहचानने से इंकार कर दिया है. हालांकि ओपीडी ब्लॉक के कमरा नंबर 76 के खुलने का राज अब तक सामने नहीं आया है. ठगी के शिकार हुए लोगो के अनुसार ईएनटी विभाग के इसी कमरे में उनसे ठगों ने नगद छह लाख लिए थे और नामांकन का फॉर्म भरवाया था. इसी कमरे में 8500 की हॉस्टल फीस की रसीद भी ठगो ने दी थी. यह ऑडियोमेट्री रूम है, डॉक्टर की मौजूदगी में सिर्फ बुधवार और शनिवार को इसका ताला खुलता है. अस्पताल प्रबंधन और पुलिस यह जानने की कोशिश कर रहे है कि उस दिन कमरे का ताला कैसे खुला, इसका भी पता लगाने के लिए कई लोगों से पूछताछ की जा रही है.