धनबाद(DHANBAD): सरकारी कर्मचारियों के लिए साल "2025 सुखद सूचना लेकर आया है. केंद्र सरकार ने आठवें वेतन आयोग की मंजूरी दे दी है. सातवां वेतन आयोग 31 दिसंबर 2025 को खत्म हो रहा है. यानी आठवां वेतन आयोग पहली जनवरी 2026 से शुरू हो जाएगा. ऐसे में कार्यरत केंद्रीय 45 लाख कर्मचारियों और पेंशन भोगी 65 लाख लोगों को सीधे फायदा होगा. इसके अलावे देश के 29 राज्यों में लगभग कार्यरत 1.40 करोड़ कर्मचारियों को भी इसका फायदा मिलेगा. केंद्र सरकार ने आम बजट के पहले गुरुवार को आठवें वेतन आयोग के गठन की मंजूरी दे दी. इस पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा है कि सरकारी कर्मचारी विकसित भारत के निर्माण में महत्वपूर्ण भूमिका निभाते है.
उनके प्रयासों पर हमें गर्व है. कैबिनेट द्वारा वेतन आयोग के निर्णय से उनकी आर्थिक स्थिति में सुधार होगा और खपत बढ़ेगी. इससे देश की अर्थव्यवस्था और मजबूत होगी. बता दें कि 1947 के बाद सात वेतन आयोग का गठन हो चुका है. आठवें वेतन आयोग के गठन की मंजूरी मिल गई है. अधिकतर राज्य सरकारे भी इसका पालन करती है. मतलब राज्य सरकार के कर्मचारियों को भी इसका फायदा मिलेगा. नए वेतन आयोग के बाद अर्थव्यवस्था में 2 लाख करोड रुपए आने का अनुमान किया गया है. जानकार बताते हैं कि सातवें वेतन आयोग में अगर किसी का न्यूनतम वेतन 18000 है, तो महंगाई भत्ता 53% है.
31 दिसंबर 25 से पहले उन्हें महंगाई भत्ता 59% मिलेगा. इसे जोड़कर आठवां वेतनमान लगने से कुल वेतन 28620 हो जाएगा. अगर पेंशनरों की बात की जाए तो छठे वेतन मान में पेंशन 14% और सातवें में 23.66% तक बढ़ी थी. इसी फार्मूले के आधार पर इस बार पेंशन न्यूनतम 34% बढ़ सकती है. केंद्र सरकार के इस आदेश के बाद विशेष कर केंद्रीय कर्मचारियों में खुशी है. झारखंड की बात की जाए तो 17 जनवरी 2017 को सातवां वेतनमान देने का फैसला लिया गया था. यह जनवरी 2016 से प्रभावित था. कोयलांचल में केंद्र सरकार के कई कार्यालय है. रेलवे भी है तो अन्य कार्यालय भी है. सभी ने इसका स्वागत किया है. रेलवे की यूनियनों ने इसे अपने संघर्ष का परिणाम बताया है. बता दे कि सातवें वेतन आयोग का गठन 2014 में किया गया था और इसकी सिफारिश पहली जनवरी 2016 से लागू हुई थी.
रिपोर्ट -धनबाद ब्यूरो