धनबाद(DHANBAD): बड़े आंदोलन के बाद धनबाद को मिली धनबाद-पटना गंगा-दामोदर एक्सप्रेस फिलहाल धनबाद से नहीं छीनी जाएगी. गंगा-दामोदर एक्सप्रेस और स्वर्णरेखा एक्सप्रेस को जोड़कर चलाने के फैसले को फिलहाल ठंडे बस्ते में डाल दिया गया है. सांसद पशुपतिनाथ सिंह की कड़ी आपत्ति और लोगों के विरोध के कारण यह निर्णय वापस हुआ है. 8 नवंबर से नई व्यवस्था के तहत गंगा दामोदर एक्सप्रेस और स्वर्ण रेखा एक्सप्रेस को चलाने की रेलवे की योजना थी. धनबाद रेल मंडल ने पूर्व मध्य रेलवे मुख्यालय को पत्र लिखकर गंगा दामोदर की बोगियों से स्वर्ण रेखा एक्सप्रेस को चलाने में अपनी लाचारी व्यक्त की गई है.
आठ नवंबर से चलने की हुई थी घोषणा
आठ नवंबर से गंगा-दामोदर एक्सप्रेस की बोगियों को एलएचबी बोगियों में तब्दील कर इसी रेक को स्वर्णरेखा एक्सप्रेस बनाकर टाटानगर तक चलाने की घोषणा हुई थी. इस संबंध में 28 नवंबर को अधिसूचना भी जारी कर दी गई थी. शुक्रवार को सांसद पशुपतिनाथ सिंह डीआरएम आशीष बंसल से मिलने पहुंचे थे. डीआरएम के समक्ष सांसद ने इस निर्णय पर कड़ी आपत्ति जताई, शनिवार को डीआरएम के आदेश पर धनबाद डिवीजन की ओर से ईसीआर मुख्यालय को पत्र लिखा गया.
स्वर्णरेखा पूर्व की तरह नौ आईसीएफ बोगियों के साथ चलेगी
मुख्यालय को जानकारी दी गई कि अगले आदेश तक स्वर्णरेखा पूर्व की तरह नौ आईसीएफ बोगियों के साथ चलेगी, इसमें एक चेयरकार और एक सेकंड सीटिंग की बोगियां जोड़ी जाएंगी. स्वर्णरेखा एक्सप्रेस को गंगा दामोदर की बोगियां तो नहीं मिलीं लेकिन डाउन में स्वर्णरेखा को नए समय पर चलाने का निर्णय यथावत रहेगा. यानी आठ नवंबर से टाटानगर-धनबाद स्वर्णरेखा एक्सप्रेस दोपहर 1.40 बजे की जगह शाम 3.50 बजे टाटानगर से रवाना होगी. नए समय के अनुसार ट्रेन शाम सात बजे आद्रा पहुंचेगी और शाम 7.35 बजे की जगह रात 11 बजे धनबाद, जबकि पटना-धनबाद गंगा दामोदर भी डाउन में पांच मिनट पहले धनबाद आ जाएगी.
रिपोर्ट: शांभवी सिंह, धनबाद