देवघर(DEOGHAR): देवघर की विशेष अदालत में पोक्सो एक्ट के तहत स्पीडी ट्रायल से तीन आरोपित को सुनाई सजा-ए-मौत. मामला देवघर के मोहनपुर थाना क्षेत्र का है, जहां ढाढ़ी यारी गांव निवासी परमानंद यादव की 15 वर्षीय बेटी के साथ इन तीनों ने दुष्कर्म के बाद हत्या कर दी थी. घटना 8 अप्रैल 2020 की है. जब दसवीं की छात्रा कपड़ा सिलाने के लिए सुबह घर से निकली थी लेकिन रात तक नहीं लौटने पर परिजनों के द्वारा काफी खोजबीन की गई थी. लेकिन कहीं उसका अता पता नहीं चला. अगले सुबह मोहनपुर थाना क्षेत्र के ही भगवानपुर घोरमारा के समीप जंगल में उसका क्षत-विक्षत शव पुलिस ने बरामद किया था. छात्रा के साथ दुष्कर्म के बाद आरोपियों द्वारा साक्ष्य मिटाने के लिए शरीर के कई जगहों सहित गुप्त अंगों पर भी धारदार हथियार से वार कर उसकी जघन्य हत्या कर दी थी.
पुलिस ने तीनों आरोपी को भेजा था जेल
शव के पास से ही नाबालिग छात्रा का साइकिल, चप्पल और सिला हुआ ब्लाउज पाया गया था. मृतिका के परिजन द्वारा मोहनपुर थाना में कुछ लोगों को नामजद अभियुक्त बनाया गया था. पुलिस ने गंभीरता से जांच की और मुख्य तीनों आरोपी और एक जुवेनाइल को हिरासत में लेकर जेल भेज दिया था. स्पीडी ट्रायल के दौरान स्पेशल पीपी शिवकांत मंडल द्वारा 18 गवाह पेश किया गया था. जिसकी सुनवाई करने के बाद एडीजे 3 गरिमा मिश्रा की न्यायालय ने आज विष्णु यादव, रीतलाल यादव और भवेश यादव को पोक्सो एक्ट 6 के अलावा अंडर सेक्शन 302, 376d, 201, 120 बी और 34 आईपीसी की धारा के तहत सभी को आरोपी मानते हुए फांसी की सजा सुनाई.
रिपोर्ट: रितुराज सिन्हा, देवघर