धनबाद(DHANBAD): मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन शुक्रवार को धनबाद में भी पूरी लय में दिखे. बलियापुर की सभा में कहा कि यहां आने पर उन्हें मालूम हुआ कि जिस जगह पर कार्यक्रम हो रहा है ,यहां धनबाद में एयरपोर्ट बनाने का प्रस्ताव है. यह जमीन एफसीआई की है, जो केंद्र सरकार के अधीन है. अगर यह जमीन केंद्र सरकार हमें देती है, तो धनबाद में बहुत जल्द नया एयरपोर्ट बनाने का जिम्मा मैं लेता हू , लेकिन केंद्र सरकार ऐसी है कि वह जमीन तो क्या ,अपना बुखार भी किसी को देना नहीं चाहती. मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य में हवाई जहाज ट्रेनिंग सेंटर वह खोलने जा रहे है. दुमका में कमर्शियल ट्रेनिंग सेंटर खोल दिया गया है.
केंद्र सरकार को आड़े हाथों लिया
धनबाद के बलियापुर में सरकार आपके द्वारा कार्यक्रम में बलियापुर हवाई अड्डा पर पहुंचे मुख्यमंत्री ने भाजपा को आड़े हाथों लिया. कहा कि राज्य में दिल्ली के रिमोट से चलने वाली सरकार नहीं है, बल्कि यह गांव, टोला और मोहल्ले से बनाई गई सरकार है. मुख्यमंत्री शुक्रवार को निर्धारित समय से एक घंटे देर से पहुंचे. उन्होंने दोहराया कि जब भी वह बकाया पैसा केंद्र सरकार से मांगते हैं, तो उनके पीछे केंद्रीय जांच एजेंसी लगा दी जाती है. लेकिन झारखंडी किसी से डरने वाले नहीं है. अपने हक और हुकूक की लड़ाई लड़ते रहेंगे. उन्होंने जोड़ा कि उन्हें घोटालेबाज कहा जाता है, जबकि राज्य को पूर्व में लूटने वाली सरकार में बैठे लोगों को बड़े संवैधानिक पद पर बैठा दिया गया है. आरोप लगाया कि पिछले 20 वर्षों में राज्य में शासन करने वाली सरकार ने इसे बीमारू राज्य बना दिया. अब वह संवारने का काम कर रहे है.
डबल इंजन की बजाय सिंगल इंजन की सरकार बनने से बचा है यह राज्य
2019 में राज्य की जनता ने डबल इंजन की सरकार को हटाकर सिंगल इंजन की सरकार बना दी. जिससे यह राज्य बच पाया, नहीं तो इस राज्य को मरने से कोई नहीं बचा सकता था. कार्यक्रम में श्रम मंत्री सत्यानंद भोक्ता ,स्वास्थ्य मंत्री बन्ना गुप्ता, टुंडी विधायक मथुरा महतो, झरिया विधायक पूर्णिमा नीरज सिंह, मुख्य सचिव विनय चौबे, डीसी वरुण रंजन, एस एसपी संजीव कुमार सहित अन्य अधिकारी मौजूद थे. उन्होंने यह भी कहा कि झारखंड पर पहला हक झारखंडियों का है. सभी निजी कंपनियों को निर्देश दिया गया है कि बाहर से लोगों को लाकर यहां नहीं भरे. 75 प्रतिशत रोजगार यहां के लोगों को देना होगा. इस राज्य पर झारखंडियों का पहला हक होगा.
रिपोर्ट -धनबाद ब्यूरो