धनबाद(DHANBAD): कुसुंडा का गोंदूडीह इलाका. जहां दो दिन पहले ही तीन महिलाएं जिंदा दफन हो गई थी. यह इलाका पड़ता है टुंडी विधानसभा क्षेत्र में, टुंडी के विधायक मथुरा प्रसाद महतो चाहते हैं कि उनका पुनर्वास भूली क्षेत्रीय अस्पताल में हो. भूली क्षेत्रीय अस्पताल धनबाद विधानसभा क्षेत्र में पड़ता है . ऐसे में विधायक राज सिंह चाहते हैं कि भूली क्षेत्रीय अस्पताल की व्यवस्था सुदृढ़ हो और लोगों को इलाज की सुविधा मिले. संभवत इसी पेंच के कारण पुनर्वास का काम नहीं शुरू हुआ और तीन महिलाएं जिंदा दफन हो गई.
दस महीने से हो रहा पुनर्वास का प्रयास
पिछले 10 महीने से पुनर्वास की कोशिश की जा रही है, लेकिन सफलता नहीं मिल रही है. सबसे पहले बीसीसीएल ने गोंदूडीह के ग्रामीणों को बसाने के लिए भूली बी ब्लॉक छठ तालाब के समीप खाली जमीन को चिन्हित किया. लेकिन रैयतों के विरोध के कारण वहां से मैनेजमेंट को वापस लौटना पड़ा. उसके बाद बीसीसीएल मैनेजमेंट ने भूली क्षेत्रीय अस्पताल परिसर में बसाने की योजना बनाई. सर्वे के बाद 19 जुलाई को ताम -झाम के साथ टुंडी विधायक मथुरा प्रसाद महतो ने मथुरा नगर का बोर्ड लगवा कर इसका शिलान्यास भी किया. लेकिन वहां भी मामला पेड़ों की कटाई के पेंच में फंस गया. हो सकता है कि राजनीतिक मामले भी हो. मथुरा प्रसाद महतो चाहते हैं कि गोंदूडीह के लोगों का पुनर्वास भूली क्षेत्रीय अस्पताल परिसर में हो, लेकिन यह इलाका धनबाद विधानसभा क्षेत्र में पड़ता है. इसलिए धनबाद विधायक चाहते हैं कि यहां अस्पताल चले. इधर, घटना के बाद से सक्रियता बढ़ी हुई है.
गोंदूडीह में 150 परिवार पुनर्वास की आस में
भूली के खाली पड़े क्षेत्रीय अस्पताल परिसर में प्रभावित परिवारों को बसाने की कार्रवाई तेज की गई है. गोंदूडीह में 150 परिवार पुनर्वास की आस में है. जानकारी के अनुसार धनबाद सीओ ने जांच का रिपोर्ट सौंप दी है. जमीन बीसीसीएल की है, मतलब जमीन को लेकर कोई परेशानी नहीं है. इसके बाद आगे की कार्रवाई झरिया पुनर्वास एवं विकास प्राधिकार एवं बीसीसीएल को करनी है. लेकिन भूली अस्पताल परिसर में भारी संख्या में पेड़ लगे हुए है. पुनर्वास के पहले पेड़ की कटाई करनी होगी. हालांकि सूत्र बताते हैं कि पेड़ कटाई की अनुमति दे दी गई है. देखना है कि यह काम कब शुरू होता है और कब लोग पुनर्वासित होते है.
रिपोर्ट -धनबाद ब्यूरो