टीएनपी डेस्क (TNP DESK) : झारखंड हाई कोर्ट से जमानत मिलने के बाद कोर्ट से बाहर आए हेमंत सोरेन. बता दें कि 13 जून को झारखंड हाईकोर्ट ने दोनों पक्ष को सुनने के बाद अपना फैसला सुरक्षित रख लिया था. जिसके बाद आज कोर्ट ने उन्हें जमानत दे दी है.
जेल से बाहर आते ही हेमंत सोरेन के हाथ जोड़ कर सभी का अभिवादन किया. उसके साथ उनकी पत्नी कल्पना सोरेन, मंत्री हफिजूल हसन, विनोद पांडेय समेत कई जेएमएम के कार्यकर्ता और नेता होटवार जेल के बाहर मौदू है. इस दौरान तमाम कार्यकर्ता झारखंड मुक्ती मोर्चा जिंदा बाद और हेमंत सोरेन जिंदा बाद के नारे लगा रहे है.
माता – पिता का आशिर्वाद लेने आवास पहुंचे हेमंत
जेल से झुटने के बाद पूर्व सीएम हेमंत सोरेन सिधे अपने माता – पिता से मिलने उनके आवास पहुंचे है. वहीं दिशोम गुरु शिबू सोरेन के आवास पर हेमंत सोरेन का पूरा परिवार उनका इंतजार कर रहा है. यहां ध्यान रहे कि हेमंत सोरेन को ईडी ने जमीन घोटाले के मामले में 31 जनवरी की रात गिरफ्तार किया था. जिसके बाद से ही हेमंत सोरेन लगातार जेल में बंद थे. हेमंत सोरेन जेल में 147 दिन गुजारने के बाद आज 148 वां दिन कोर्ट से जमानत मिलने की खुशी में झामुमो कार्यकर्ताओं ने जश्न मनाया है.
पार्टी और कार्यकर्ताओं में खुशी की लहर- महुआ माजी
अपनी खुशी जाहिर करते हुए महुआ माजी ने कहा कि हेमंत सोरेन के जेल जाने के बाद पूरे इंडी गठबंधन के सभी नेताओं के चेहरे से खुशी गायब हो गई थी. हेमंत सोरेन की गिरफ्तारी के विरोध में राजधानी रांची में उलगुलान महारैली का आयोजन किया गया था. जहां हम सभी ने मिल कर हेमंत सोरेन कि गिरफ्तारी का विरोध जताया था. साथ ही उन्होंने भाजपा पर तंज कसते हुए कहा कि भाजपा जिस प्रकार लोकप्रिय नेता को गिरफ्तार करवा रही थी. तो आज उन्हें भी समझ आ गया होगा कि आप लोक प्रिय नेता को ज्यादा दिनों तक अंदर नहीं रख सकते है.
सत्य को नहीं किया जा सकता पराजित – राजेश ठाकुर
कांग्रेस के प्रदेश महासचिव राकेश सिन्हा ने कहा कि सत्य को परेशान किया जा सकता है, पराजित नहीं किया जा सकता. आज सत्यमेव जयते का नारा बुलंद हुआ है और तानाशाही विचारधारा की हार हुई है. उन्होंने कहा कि भाजपा का असली चेहरा सामने आ गया है.
वहीं मंत्री हफीजुल हसन ने सोशल मीडिया पर पोस्ट करते हुए लिखा कि सत्य कभी भी परास्त नहीं हो सकता है. आज माननीय उच्च न्यायालय ने पूर्व मुख्यमंत्री श्री हेमंत सोरेन जी को जमानत दे दी है. मा. उच्च न्यायालय के इस फैसले का हृदय से स्वागत एवं अभिनंदन है. इस फैसले ने झूठ की रेत पर तानाशाही ताकतों द्वारा बनाए गए महल को भी ढहा दिया है
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