दुमका(DUMKA):18 नवंबर को केंद्रीय पर्यावरण राज्य मंत्री अश्विनी चौबे दुमका पहुंचे.जहां पार्टी के कार्यकर्ताओं ने उनका स्वागत किया. अश्विनी चौबे जिले में आयोजित गोपीकांदर और काठीकुंड प्रखंड में 4 जगहों पर आयोजित विकसित भारत संकल्प यात्रा कार्यक्रम में शिरकत करेंगे.वहीं कार्यक्रम स्थल पर रवाना होने से पहले मंत्री ने परिसदन में प्रेस वार्ता की, इस दौरान एक तरफ उन्होंने केंद्र सरकार की उपलब्धियों का बखान किया तो दूसरी तरफ बिहार और झारखंड सरकार पर जमकर निशाना साधा.
बिरसा मुंडा की धरती से सरकार ने भारत विकास संकल्प यात्रा की शुरुआत की
प्रेस वार्ता के दौरान मंत्री ने कहा कि 15 नवंबर को बिरसा मुंडा की धरती से सरकार ने भारत विकास संकल्प यात्रा की शुरुआत की है, साथ ही प्रधानमंत्री जनजाति आदिवासी न्याय महा अभियान की भी शुरुआत की है. इसका उद्देश्य विकसित भारत के संकल्प के साथ आगे बढ़ाना है, सरकार की सबसे बड़ी चिंता है कि गरीबों का भला कैसे हो. यह सबसे बड़ी चुनौती है कि समाज के अंतिम पायदान पर बैठे व्यक्ति का उत्थान कैसे हो? बीजेपी जन संघ कल से अब तक अपने प्रथम प्राथमिकता अंतिम व्यक्ति का उत्थान करना है. प्रधानमंत्री का प्रयास निरंतर इसके लिए चल रहा है. वर्ष 2014 में प्रधानमंत्री ने कहा था कि सरकार गरीबों के प्रति समर्पित होगी. गरीबों को केंद्रित कर अधिकांश योजनाएं चलाई जा रही है.
अश्विनी चौबे ने कहा कि हमारा लक्ष्य है कि लाभुकों तक लाभ कैसे पहुंचे
अश्विनी चौबे ने कहा कि हमारा लक्ष्य है कि लाभुकों तक लाभ कैसे पहुंचे. इस लक्ष्य की प्राप्ति की दिशा में पीएम जनजातीय गौरव दिवस 2023 के दिन विकसित भारत संकल्प यात्रा के साथ ही लगभग 24000 करोड रुपए के बजट के साथ पीएम जनजाति आदिवासी न्याय महाअभियान की शुरुआत की गई है. विकास के चार स्तंभ होते हैं, नारी शक्ति, युवा शक्ति, श्रम शक्ति और गरीबों की शक्ति, इन शक्तियों को मजबूती प्रदान करना सरकार का लक्ष्य है, और इसे मजबूत कर ही समाज का विकास किया जा सकता है.
बिहार और झारखंड में अवैध खनन रोकने के मुद्दे पर सरकार को पूरी तरह नाकाम करार दिया
वहीं अश्विनी चौबे ने बिहार और झारखंड में अवैध खनन रोकने के मुद्दे पर मंत्री ने दोनों सरकार को पूरी तरह नाकाम करार दिया. उन्होंने कहा कि यहां संघीय व्यवस्था है, राज्य सरकार के सहयोग से ही केंद्र सरकार कोई काम करती है. अवैध खनन राज्य का विषय है, बालू का अवैध खनन बड़े पैमाने पर बिहार और झारखंड में लगातार हो रहा है. सरकार की मिशनरी की संलिप्त से इनकार नहीं किया जा सकता, दोनों ही राज्यों में आला अधिकारी से लेकर राजनीति के उच्च स्तर के लोग अगर संवेदनशील होते तो अवैध खनन रुक जाता, अवैध खनन का लॉ एंड ऑर्डर से गहरा संबंध है.
दोनों ही राज्यों में प्रकृति के साथ खिलवाड़ किया जा रहा है- अश्विनी चौबे
अवैध खनन के कारण ही आए दिन हत्याएं हो रही है. अपराध का ग्राफ लगातार बढ़ रहा है, दोनों ही राज्यों में प्रकृति के साथ खिलवाड़ किया जा रहा है. यह बड़ा चिंतनीय विषय है. एनजीटी के निर्देश के बावजूद अवैध खनन हो रहा है. राज्य सरकार के मुखिया अगर इसे सीरियसली लेते तो निश्चित रूप से यह अवैध खनन रुक जाएगा, लेकिन यहां तो उगाही हो रही है, भ्रष्टाचार को बढ़ावा देने का काम किया जा रहा है. ऐसी सरकार किस काम की है.
नीतीश कुमार को दी ये सलाह
वहीं अश्विनी चौबे ने ने इंडिया गठबंधन को ठग बंधन करार देते हुए बिहार और झारखंड सरकार पर जमकर निशाना साधा. खासकर बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के आपत्तिजनक बयान पर उन्होंने प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि राजनीतिक मित्र होने के नाते बिहार के मुख्यमंत्री के लिए एक सलाह रहेगा कि वो अपने पद से त्यागपत्र दे दें. किसी आरोग्यशाला में उनका मानसिक इलाज होनी चाहिए. आज तक किसी ने भी महिलाओं के प्रति इस प्रकार की अभद्र टिप्पणी नहीं की है, उनकी टिप्पणी से देश शर्मसार है. बिहार और झारखंड में जंगल राज कायम है. 32 वर्षों से चाचा भतीजा और वंशवाद की सरकार चल रही है. समय आने पर जनता ऐसी सरकार को उखाड़ फेंकेगी.
रिपोर्ट-पंचम झा