Ranchi- प्रदेश अध्यक्ष की जिम्मेवारी संभालते ही अपना ज्यादा से ज्यादा समय सोशल मीडिया पर बिताने वाले पूर्व सीएम बाबूलाल ने दावा किया है कि झामुमो की ट्रोल आर्मी हांफ रही है. उन्हे कुछ सूक्ष नहीं रहा है, उनके अन्दर का आत्मविश्वास हिल चुका है, उनके सामने आगे कुंआ और पीछे खाई की स्थिति पैदा हो गयी है. इसलिए लंपटों की भांति दिन भर अगड़-बगड़- ऊलजलूल बकबक कर विषवमन करते रहते हैं.
.@JmmJharkhand की ट्रोल आर्मी हांफ रही है। बेचारे थक गए हैं। निराश हो गए हैं। हताश हो गए हैं। कुछ सूझ नहीं रहा इन्हें। आगे कुऑं पीछे खाई दिख रही है इन्हें। आत्मविश्वास हिल गया है।
— Babulal Marandi (@yourBabulal) July 24, 2023
कुछ समय में ही ये भग्नावशेष हो जाएंगे ये। शिक्षा और समझ से इनका छत्तीस का आंकड़ा है इसलिए ये…
आखिर सोशल मीडिया वार में क्यों पिछड़ती जा रही है भाजपा
ध्यान रहे कि एक समय भाजपा की ट्रोल आर्मी को काफी मजबूत माना जाता था, सोशल मीडिया पर उसकी मजबूत पकड़ मानी जाती थी, लेकिन पिछले कुछ दिनों से कांग्रेस सहित दूसरे क्षेत्रीय दलों का सोशल मीडिया पर उपस्थिति काफी मजबूत हुई है, अब हालत यह है कि जैसे ही भाजपा के द्वारा कोई गलत आंकड़ा या दावा पेश किया जाता है, तुरंत उसका पलटवार सामने आ जाता है, उसकी फजीहत शुरु हो जाती है, कुछ यही हालत बाबूलाल मरांडी की भी है, हालियां दिनों में देखा जा रहा है कि जैसे ही बाबूलाल का कोई ट्वीट आता है, तुंरत उस कमेंट की बौछार शुरु हो जाती है, बाबूलाल के दावे की हंसी उड़ाई जाने लगती है, उनके पुराने बयान याद दिलाये जाने लगते हैं, प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी को लेकर उनके पुराने तंज सामने लाये जान लगते हैं, कुतुबमीनार से कुदने वाले उनके पुराने बयान को याद दिलाया जाने लगता है, यही कारण है कि बाबूलाल को अब झाममो के सोशल मीडिया से परेशानी होने लगी है, शायद इस निराशा में बाबूलाल के द्वारा झामुमो के सोशल मीडिया हैंडलरों को लंपटों की जमात बताया जा रहा है. जबकि यही काम पिछले नौ वर्षों से भाजपा के द्वारा सोशल मीडिया पर किया जा रहा है, अब वही विष वमन की शुरुआत आज भाजपा के लिए मुसीबत बनती जा रही है.
हालांकि बाबूलाल के इस आरोप पर झामुमो मजा ले रही है,उसका दावा है कि प्रदेश अध्यक्ष की जिम्मेवारी संभालते के बाद बाबूलाल जमीन पर उतर कर संघर्ष करने के बजाय ट्वीटर पर ही पूरा समय बिता रहे हैं, क्योंकि उन्हे भी पता है कि झारखंड में भाजपा की जमीन खिसक चुकी है, इस खिसकी हुई जमीन पर जन मुद्दों पर संघर्ष करने बजाय ट्वीटर वीर बन संघर्ष का दावा मात्र कर रहे हैं.