रांची (TNP Desk) : आंदोलनरत एचईसी के कर्मचारियों ने भाजपा के प्रदेश कार्यालय का घेराव किया. रांची के हरमू स्थित पार्टी कार्यालय के समक्ष लगभग डेढ़ घंटे तक एचईसी में काम करने वाले सैकड़ों कर्मचारियों ने धरना दिया और प्रदर्शन किया. पिछले 22 महीने से एचईसी के कर्मचारियों को वेतन नहीं मिला है. घेराव के दौरान मोदी सरकार के खिलाफ जमकर नारेबाजी भी की.
एचईसी को बंद कराने की रची जा रही है साजिश
पूर्व निर्धारित कार्यक्रम के अनुसार हेवी इंजीनियरिंग कॉरपोरेशन के कर्मचारियों ने लगभग 12 बजे जुलूस की शक्ल में प्रदेश भाजपा कार्यालय पहुंचे. हरमू मैदान से कर्मचारियों का पूरा जत्था यहां जुलूस के रूप में आया था.भाजपा कार्यालय के बाहर प्रशासन के द्वारा अतिरिक्त सुरक्षा बल तैनात किए गए थे. जहां प्रदर्शनकारियों का गुस्सा देखा गया. प्रदर्शन करते हुए कर्मियों ने केंद्र की मोदी सरकार के खिलाफ नारेबाजी की. एचईसी कर्मियों ने कहा कि एचईसी को बंद कराने की साजिश रची जा रही है. केंद्र सरकार के भारी उद्योग मंत्रालय के द्वारा सिर्फ झूठा आश्वासन दिया गया.
22 महीने का वेतन भुगतान करे सरकार
प्रदर्शनकारी कर्मचारियों का कहना है कि पिछले 22 महीने से उन्हें वेतन नहीं मिला है. उनके बच्चों की पढ़ाई लिखाई और परवरिश मुश्किल हो गई है. उन्होंने कहा कि एचईसी के पास ऑर्डर की कमी नहीं है. इसे कार्यशील पूंजी चाहिए. वेतन का भुगतान कर कारखाना को फिर से चालू किया जाना चाहिए.
सांसद और हटिया विधायक के खिलाफ दिखा गुस्सा
सैकड़ों की संख्या में भाजपा प्रदेश कार्यालय पहुंचे एचईसी कर्मचारियों का कहना था कि केंद्र की मोदी सरकार सरकारी कंपनियों को बेच रही है. दशकों से विभिन्न क्षेत्रों में टेक्नोलॉजी के माध्यम से एचईसी का योगदान काफी गरिमापूर्ण रहा है. आज इसके जीर्णोद्धार की जरूरत है तो केंद्र सरकार टाल मटोल कर रही है. इन प्रदर्शनकारियों का सबसे अधिक गुस्सा रांची के सांसद संजय सेठ और हटिया विधायक नवीन जायसवाल के खिलाफ देखा गया. इनका कहना था कि पिछले लगभग साढे चार साल से सिर्फ एचईसी के बारे में आश्वासन ही दिया जा रहा है. कुछ काम नहीं हो रहा है. यह भी कहा गया कि हटिया क्षेत्र में किसी भी भाजपा के विधायक और संसद को घुसने नहीं दिया जाएगा. लोकसभा चुनाव में भी भाजपा के खिलाफ वोट किया जाएगा. इस दौरान भाजपा कार्यालय का गेट बंद रहा. सभी वरीय नेता कार्यालय में दुबके रहे. कोई भी नेता प्रदर्शन कर रहे कर्मचारियों से मुलाकात नहीं की.