रांची(RANCHI)- सूबे के स्वास्थ्य मंत्री बन्ना गुप्ता की एक तस्वीर इन दिनों झारखंड में राजनीतिक गोसिप का केन्द्रबिन्दू बन चुका है. आम से लेकर खास तक सबों की जुबान पर इसी की चर्चा है. वीडियो वायरल होने के बाद अब तक दो महिला सामने आ चुकी है और दोनों के ही द्वारा इस वीडिया को फर्जी बतलाया गया है.
इसमें से एक महिला तो कांग्रेस संगठन से भी जुड़ी हुई है, उसका दावा है कि उसकी फेसबूक पेज से उसकी तस्वीर को एडिट कर इस वीडियो के साथ उसे वायरल किया जा रहा है. कांग्रेसनेत्री का दावा है कि राजनीतिक गतिविधियों में उसकी भागीदारी रहती है, मंत्री बन्ना गुप्ता से लेकर कई मंत्रियों तक उसके पारिवारिक संबंध है, छह माह पहले ही उसकी शादी हुई है, मंत्री के साथ उसकी तस्वीर को वायरल करने से उसकी छवि को नुकसान पहुंचा है, उसकी और उसके परिवार की भावनाओं और सम्मान को ठेस पहुंचा है.
दूसरी महिला का दावा वह बन्ना गुप्ता को जानती तक नहीं
जबकि दूसरी महिला का दावा है कि वायरल वीडियो में जिस प्रकार उसे आपत्तिजनक हालत में मंत्री बन्ना गुप्ता के साथ प्रेमालाप करते हुए दिखलाया गया है, वह फर्जी है, फोटो एडिटिंग का नतीजा है, वह बन्ना गुप्ता को जानती भी नहीं, और ना ही कभी उसकी बन्ना गुप्ता के साथ कोई मुलाकात हुई है. वह तो उक्त वीडियो में वह अपने पति के अपने निजी क्षणों में बात कर रही थी, दोनों के बीच रोमांटिक बातें हो रही थी, उस निजी क्षणों के इस वीडियो को किसी अज्ञात व्यक्ति के द्वारा एडिट कर उसमें उसके पति के स्थान पर बन्ना गुप्ता की तस्वीर को जोड़ दिया गया. महिला का दावा है कि वह तीन बच्चों की मां है, उसकी पारिवारिक जिंदगी है, इस वीडियो के कारण उसके परिवार को मानसिक संताप का सामना करना पड़ रहा है.
भाजपा सांसद निशिकांत दुबे ने किया था ट्वीट
सदन रहे कि इस वीडियो को पहली बार भाजपा सांसद निशिकांत दुबे के द्वारा ट्विट किया गया था, इस वीडियो को सामने रखते हुए निशिकांत दुबे के द्वारा बन्ना गुप्ता के सहारे हेमंत सरकार को घेरने की कोशिश हुई थी, हेमंत सरकार और कांग्रेस पर तंज कसा गया था. लेकिन इस वीडियो को सामने आते ही निर्दलीय विधायक सरयू राय के द्वारा भी मोर्चा खोल दिया गया.
मंत्री बन्ना गुप्ता की घेराबंदी, सरयू राय का दावा
स्वास्थ्य मंत्री बन्ना गुप्ता की घेराबंदी करते हुए सरयू राय ने दावा किया कि वायरल वीडियो तो मात्र 21 सेकेंड है, जबकि असली वीडियो तीन मिनट का है. हालांकि सरयू राय के द्वारा यह नहीं बताया गया कि यह वीडियो उनके हाथ कैसे लगी? और यदि हाथ लगी तो वह अब तक चुप क्यों थें, जब भाजपा सांसद के द्वारा इसे सार्वजनिक किया गया, तब ही वह सामने क्यों आये? सरयू राय यहीं नहीं रुके, उनके द्वारा दावा भी किया गया कि मंत्री बन्ना गुप्ता के साथ अश्लील चैट करने वाली महिला का बिरसा नगर जोन 11 का गेट शाम 4 बजे खुला, और 5 बजे वह अन्य 3 महिलाओं के साथ ह्वाइट वैगर-आर कार पर सवार होकर निकल गयी. कार उस फर्नीचर हाउस का ड्राईवर छोटू चला रहा था, जिसमें वह काम करती है. पुलिस सक्रिय रहती, तो वह युवती पकड़ में आ जाती.
राजनीतिक वार प्रतिवार का नतीजा
साफ है कि इस वायरल वीडियो के पीछे राजनीतिक खेल है, यहां सवाल सिर्फ किसी महिला का नहीं है, उसकी अस्मत का नहीं है, सवाल अपनी-अपनी राजनीति का है. इसके पीछे कई किरदार हैं, कुछ खुलकर खेल रहे हैं तो कुछ पर्दे के पीछे अभी अपनी बारी का इंतजार कर रहे हैं. सबकी अपनी अपनी महत्वाकांक्षाएं है. एक दूसरे को सलटाने की राजनीतिक तैयारियां हैं.
किसी महिला की गतिविधियों पर नजर रखना कितना उचित?
यदि ऐसा नहीं होता तो तब सरयू राय जैसे वरिष्ठ विधायक के द्वारा एक फर्नीचर हाउस में काम करने वाली किसी महिला पर इतनी बारिक नजर क्यों रखी जाती? वह महिला कहां काम करती है, किससे मिलने जाती है, कब आयी, किसके साथ गयी, किस कार से गयी, इतनी डिटेल इंफॉर्मेशन सरयू राय की नीयत पर सवाल खड़े करते हैं, जिस प्रकार वह लिखते हैं कि यदि पुलिस सजग रहती तो उस महिला के पास पहुंचा जा सकता था, उनकी बेचैनी को बयां कर रहा है. इसके साथ ही सरयू राय यह दावा करने से भी पीछे नहीं रहे कि यह तो पहली झांकी है, अभी कई कहानियां बाकी है. साफ है कि सरयू राय काफी दिनों से इस मामले पर नजर बनाये हुए थें. उनके द्वारा बन्ना गुप्ता को घेरने की व्यूह रचना तैयार की जा रही थी.
अश्लील चैट करने वाली महिला वही है, सरयू राय इतने आश्वस्त कैसे?
हालांकि वायरल वीडियो में कितनी सच्चाई है यह पुलिसिया जांच का विषय है. आज नहीं तो कल इसकी सच्चाई सामने आयेगी ही, लेकिन इतना तय है कि राजनीति के इस कुत्सित खेल में महिलाएं भी राजनीतिज्ञों का चारा बन रही है, हमें किसी महिला की इतनी डिटेल इंफॉर्मेशन जारी करने के पहले यह सोचा जाना चाहिए था कि हर व्यक्ति की अपनी निजी जिंदगी होती है, और यह मामला तब और भी संवेदनशील हो जाता है जब वह कोई महिला हो. जिस महिला की बात सरयू राय के द्वारा की जा रही है वह किसी फर्नीचर हाउस में काम करती है, अब तक पुलिस की प्राथमिकी में उसके नाम का कोई जिक्र नहीं है, खुद मंत्री बन्ना गुप्ता ने भी उस महिला को आरोपी नहीं बनाया है, हम भूले नहीं यहां मूल सवाल यह है कि बन्ना गुप्ता का वायरल वीडियो किसके द्वारा सोशल मीडिया पर अपलोड किया गया. वह महिला कोई पीड़िता नहीं है. हां यदि यह वीडियो उस महिला के द्वारा अपलोड किया गया होगा तब निश्चित रुप से पुलिस उसके साथ पूछताछ करेगी. और बड़ा सवाल अश्लील चैट करने वाली वही महिला है, सरयू राय इतने आश्वसत कैसे हैं?
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