धनबाद(DHANBAD): सिंदरी के भाजपा विधायक इंद्रजीत महतो की सदस्यता बनी रहेगी. इंद्रजीत महतो झारखंड के पहले विधायक है , जिन्हें सदन में अनुपस्थिति के कारण उनकी सदस्यता पर खतरा फिलहाल टल गया है.
इंद्रजीत महतो बीमार चल रहे हैं और वह फिलहाल हैदराबाद में इलाज करा रहे हैं. मार्च 2021 के बाद वह सदन में अपनी उपस्थिति दर्ज नहीं करा सके हैं. गंभीर बीमारी के कारण उनका इलाज हैदराबाद में चल रहा है. इंद्रजीत महतो को 23 मार्च 2021 के बाद 23 मार्च 2023 तक की अवधि में सदन की बैठकों में अनुपस्थित रहने की अनुमति प्रदान प्रदान कर दी गई है. इतना ही नहीं ,आगे भी संभावित अनुपस्थिति को मंजूरी दी गई है. विधायक की पत्नी ने स्पीकर को इसके लिए आवेदन दिया था. उस आवेदन पर उन्हें यह अनुमति मिली है. जानकार बताते हैं कि नियम है कि विधान सभा की बैठकों में लगातार अनु पस्थित रहने की अनुमति जो सदस्य चाहेंगे, वह अध्यक्ष को इस संबंध में आवेदन देंगे. आवेदन मिलने के बाद अध्यक्ष यथासंभव जल्द सदन में आवेदन की चर्चा करेंगे. विरोध नहीं होने पर अनुपस्थित रहने की अनुमति प्रदान की जाती है. लेकिन अगर कोई विरोध की आवाज सुनाई दे तो अध्यक्ष सभा का अभिप्राय जान लेंगे और उसके बाद निर्णय करेंगेे. हालांकि इंद्रजीत महतो के मामले में दलगत भावना से ऊपर उठकर कहीं से कोई विरोध की आवाज नहीं उठी और इंद्रजीत महतो को पिछली अनुपस्थिति और आगे भी अनुपस्थित रहने की मंजूरी मिल गई है. भाजपा के लिए भी यह राहत की बात है और बीमार विधायक इंद्रजीत महतो के लिए भी.
इंद्रजीत महतो 2019 में धनबाद के सिंदरी सीट से विजई हुए थे. वह झारखंड मुक्ति मोर्चा के फूलचंद मंडल को हराकर यह सीट हासिल की थी. सिंदरी सीट एक समय लाल झंडे के कब्जे में थी. लेकिन बाद में इसमें कई परिवर्तन हुए. पूर्व सांसद स्व एके राय भी इस सीट से विधायक रह चुके थे. उसके बाद आनंद महतो विधायक बनते रहे. फिर 2014 में भाजपा के टिकट पर फूलचंद मंडल ने सिंदरी सीट पर जीत हासिल की. 2019 में जब इंद्रजीत महतो ने भाजपा की टिकट झटक ली तो फूलचंद मंडल झारखंड मुक्ति मोर्चा में चले गए और झारखंड मुक्ति मोर्चा के टिकट पर ही चुनाव लड़े लेकिन वह हार गए.
रिपोर्ट: सत्यभूषण सिंह
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