धनबाद(DHANBAD): धनबाद में आफत बरसा रही गर्मी के बीच चुनावी तपिश भी बढ़ रही है, तो बिजली संकट "कोढ़ में खाज" का काम कर रही है. भीषण गर्मी में बिजली लोगों की कड़ी परीक्षा ले रही है. इस भीषण गर्मी में बिजली की मांग अत्यधिक हो जाने के कारण कई सब स्टेशन डेंजर जोन में पहुंच गए है. बताया जाता है कि सब स्टेशन में लगे उपकरणों को सुरक्षित रखने के लिए सप्लाई बंद करनी पड़ रही है. बिजली विभाग के सब स्टेशन ओवरलोड से गुजर रहे है. बिजली विभाग के अधिकारियों के अनुसार बुधवार और गुरुवार को दिन के 12 बजे से लेकर 2 बजे के बीच विभिन्न सब स्टेशनों का रेड अलर्ट सायरन बजने लगे. इस वजह से सब स्टेशनों में लगे उपकरण को बचाने के लिए बिजली सप्लाई बंद करनी पड़ी. फिलहाल स्थिति यह है कि हर आधे घंटे पर बिजली कटौती हो रही है, बिजली कटने के बाद कब लौटेगी, यह बताने वाला कोई नहीं है.
दिन चढ़ने के साथ बिजली की ट्रिपिंग शुरू होती
दिन चढ़ने के साथ बिजली की ट्रिपिंग शुरू होती है, जो रात तक जारी रहती है. इधर, गर्मी ने सभी को बेहाल कर रखा है. सुबह 7 बजते ही धूप निकल जाती है और 10 बजने के बाद तो लू चलने लगती है. ऐसी स्थिति में 11 बजते -बजते सड़कें सुनी हो जाती है. वही लोग सड़क पर दिखते हैं, जो किसी जरूरी काम से बाहर निकलते हैं अथवा चुनाव लड़ रहे प्रत्याशी और उनके समर्थक ही सड़क पर दिखाई देते है. अभी धनबाद लोकसभा का नामांकन चल रहा है. इस भीषण गर्मी में आने जाने वाले लोगों को भारी परेशानी का सामना करना पड़ रहा है. समर्थकों को भी गर्मी की तपिश परेशान कर रही है, लेकिन चुनाव है, चुनाव में तो मेहनत करनी ही पड़ेगी. ए सी चेंबर में रहने वाले प्रत्याशी भी कड़ी धूप में गली मोहल्ले घूम रहे है. लोगों से वोट मांग रहे है. लोगों को बता रहे हैं कि उन्हें ही वोट क्यों दिया जाए. प्रमुख दलों ने नामांकन कर दिया है और नामांकन के बाद चुनाव प्रचार जोर पकड़ने लगा है. प्रत्याशी और उनके समर्थक पसीने से तरबतर हो रहे हैं, फिर भी उनके उत्साह में कोई कमी नहीं दिखती. जगह-जगह बैठकों का दौर चल रहा है.
प्रमुख पार्टियों के उम्मीदवारों ने कर दिया है नॉमिनेशन
धनबाद लोकसभा से एनडीए की ओर से विधायक ढुल्लू महतो प्रत्याशी हैं तो इंडिया ब्लॉक की ओर से अनुपमा सिंह उम्मीदवार है. एके राय की पार्टी ने भी धनबाद से अपना उम्मीदवार खड़ा किया है, लेकिन बिजली जिस ढंग से इस गर्मी में लोगों को परेशान कर रही है, उम्मीदवारों के लिए भी संकट पैदा कर रही है. क्योंकि कोयलांचल पानी, बिजली संकट से जूझ रहा है. झरिया में तो एक सप्ताह पहले लोगों ने बैनर लगाकर प्रदर्शन किया और कहा कि "जल नहीं तो वोट नहीं" बिजली संकट कोयलांचल के लिए 365 दिन की बात हो गई है. जीरो कट बिजली का दावा तो किया जाता रहा है लेकिन कोई भी ऐसा दिन नहीं गुजरता, जब लोगों को जीरो कट बिजली मिली हो. सूर्य की किरणें आफत बरसा रही है, चुनावी तपिश बढ़ने लगा है और इन सबके बीच बिजली संकट "कोढ़ में खाज "का काम कर रही है.
रिपोर्ट -धनबाद ब्यूरो
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