टीएनपी डेस्क (TNP DESK) -मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन मणिपुर के हालात को लेकर चिंतित है . उन्होंने द्रौपदी मुर्मु को पत्र लिखकर मणिपुर के हालात पर चिंता जाहिर की. उन्होंने झारखंड के मुख्यमंत्री और इस देश के एक चिंतित नागरिक के रूप में लिखा कि , वे मणिपुर की हिंसा से द्रवित , व्यथित और चिंतित हूं. इसके साथ ही उन्होंने मणिपुर में सैकड़ों निर्दोष लोगों की जान जाने का दुख जताया और वहां की भाजपा शाषित सरकार को नाकाम करार दिया.
शांति बहाली की होनी चाहिए कोशिश
मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने मणिपुर हिंसा को लेकर राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु को लिखे पत्र में कहा कि वहां शांति बहाल करने की दिशा में काम होना चाहिए.हेमंत सोरेन ने कहा कि संपत्ति और सार्वजनिक इंफ्रास्ट्रक्टर का खत्म होना, यातना और महिलाओं का यौन शोषण, विस्थापन से प्रभावित क्षेत्रों में रहने वाले कई जातीय समूहों के बीच असुरक्षा की गंभीर भावना पैदा हो गई है.
झारखंड सीएम ने कहा कि दो दिन पहले सोशल मीडिया पर वायरल शर्मनाक वीडियो ने सभी को झकझोर कर रख दिया है. हमारे संविधान के दिए मानव जीवन और सम्मान के आंतरिक सिद्धांत पूरी तरह से टूटते नजर आ रहे हैं. एक समाज को कभी भी उस बिंदु तक नहीं पहुंचना चाहिए, जहां लोगों को उस तरह की शारीरिक, भावनात्मक और मनोवैज्ञानिक क्रूरता का सामना करना पड़े, जैसा हमने मणिपुर में देखा है.
मणिपुर की सरकार नाकाम
यह जानकर हैरानी हुई कि राज्य सरकार अपने ही लोगों की रक्षा करने और हिंसा और अशांति को कम करने में नाकाम रही. मणिपुर दो महीने से ज्यादा वक्त से हिंसा से जल रहा है . मीडिया रिपोर्टों का अनुमान है कि बच्चों सहित 40,000 से अधिक लोग विस्थापित गए हैं. वे अस्थायी शिविरों में रह रहे हैं. हेमंत सोरेन ने कहा कि ऐसा प्रतीत होता है कि यहां कानून का शासन पूरी तरह से टूट गया है . यह बेहद ही दुखद और पीड़ा देने वाला है कि कुछ निहित स्वार्थों के मौन समर्थन के साथ, यहां जातीय हिंसा निरंतर जारी है.
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