बिहार में ना कोई रार ना कोई दरार, बावजूद इसके गर्म है अफवाहों का बाजार! राजद नेता मनोज झा का दावा भ्रम दूर करने की जिम्मेवारी सीएम नीतीश के कंधों पर

अब देखना होगा कि सोनिया गांधी की ओर से इस विवाद का क्या समाधान निकाला जाता है, यदि वाकई सोनिया गांधी लालू यादव को विधान सभा भंग करने पर सहमत कर लेती हैं, तो क्या इस विवाद का समाधान निकल जायेगा, या उसके बाद नीतीश कुमार एक पिटारा लेकर सामने आयेंगे और उनके द्वारा इंडिया गठबंधन की ओर से पीएम फेस बनाने की दूसर मांग की सामने रख दी जायेगी, और यदि इस मांग को स्वीकार कर  लिया जाता है, तो इंडिया गठबंधन के दूसरे घटकों के बीच इसका क्या संदेश जायेगा, क्या ममता बनर्जी से अरविन्द केजरीवाल को यह महसूस नहीं होगा कि इंडिया गठबंधन एक व्यक्ति की सियासी महत्वकांक्षाओं के नतमस्तक हो गया.

बिहार में ना कोई रार ना कोई दरार, बावजूद इसके गर्म है अफवाहों का बाजार! राजद नेता मनोज झा का दावा भ्रम दूर करने की जिम्मेवारी सीएम नीतीश के कंधों पर