धनबाद(DHANBAD): समूचे झारखंड ने हीटवेव के बीच मंगलवार को थोड़ी राहत महसूस कर रहा है. कही ओले गिरे तो कही बारिश हुई ,कही अंधड़ भी चला. इधर, बिजली संकट पूरे राज्य में व्याप्त है. धनबाद को तो जरूरत से आधी बिजली भी नहीं मिल रही है. गर्मी में बिजली संकट कोढ़ में खाज का काम कर रहा है. बिजली जा रही है घंटे भर के लिए तो आ रही है पांच- 10 मिनट के लिए. अब तो लोगों का जीना मुहाल हो गया है. कारण चाहे जो भी हो लेकिन इसके लिए जिम्मेदार अधिकारियों को चिन्हित कर कार्रवाई की मांग उठने लगी है. सूत्रों के अनुसार डी बीसी की कोडरमा यूनिट में उत्पादन गिरने से धनबाद में बिजली आपूर्ति गड़बड़ा गई है. हर घंटे के बाद डेढ़ घंटे से 2 घंटे की कटौती की जाने लगी है. आम दिनों में धनबाद सर्किल की मांग 230 मेगावाट की है और गर्मी में यह बढ़ जाती है. लेकिन धनबाद को अभी लगभग 105 मेगावाट बिजली मिल रही है.
धनबाद को तो जरुरत की आधी बिजली भी नहीं मिल रही
डीबीसी 190 की जगह सिर्फ 95 से 100 मेगावाट बिजली दे रहा है. ऐसे में लोगों को 24 घंटे में 8 घंटे से अधिक बिजली नहीं मिल पा रही है. किसी क्षेत्र में तो ब्लैकआउट की स्थिति है. रात में लोगों को घरों में रहना मुश्किल हो गया है. तापमान भी 42 डिग्री के आसपास रह रहा है. ऐसे में जिनके पास इनवर्टर है वह भी बेकार साबित हो रहे है. जो जनरेटर चलाकर काम चला रहे थे ,उनका जनरेटर भी जवाब दे रहा है. डीजल की खपत बढ़ गई है, सो अलग. उद्योग धंधों की हालत पतली हो गई है.
ऊर्जा सचिव कई दिन से विदेश में हैं.सरकार ने श्री मनीष रंजन को ऊर्जा सचिव का प्रभार दिया है.संचिका @HemantSorenJMM के पास गई है.उनका आदेश होने के बाद बिजली उत्पादक कंपनियों का भुगतान होगा.तब वे झारखंड का कनेक्शन जोड़ेगी.यही समय पर हो गया होता तो गरमी में जनता परेशान नहीं हुई होती.
— Saryu Roy (@roysaryu) May 23, 2023
इस बीच जमशेदपुर पूर्वी के विधायक सरयू राय ने ट्वीट कर कहा है कि ऊर्जा सचिव कई दिनों से विदेश में है. सरकार ने मनीष रंजन को उर्जा सचिव का अतिरिक्त प्रभार दिया है. संचिका मुख्यमंत्री के पास गई है, उनका आदेश होने के बाद बिजली उत्पादक कंपनियों का भुगतान होगा तब वह झारखंड का कनेक्शन जोड़ेगी. अगर यही काम पहले हो गया रहता तो जनता को इतनी परेशानी नहीं होती.
रिपोर्ट -धनबाद ब्यूरो