रांची(RANCHI): झारखंड में लोकसभा चुनाव और ईडी की कार्रवाई से राजनीति तपिश बढ़ी हुई है.एक ओर चुनाव की घोषणा से पहले बयानबाजी तेज है.तो दूसरी ओर केंद्रीय जांच एजेंसी की जांच पर सूबे की सत्तारूढ़ दल भाजपा पर सवाल खड़ा कर रही है.वहीं हेमंत सोरेन की गिरफ्तारी के आधार पर सवाल खड़ा कर रही है. इस मामले को लेकर झामुमो के हरमू स्तिथ केंद्रीय कार्यालय में सांसद विजय हासदा और केंद्रीय महासचिव सुप्रियो भट्टाचार्य ने प्रेस वार्ता की.
प्रेस वार्ता के दौरान सांसद विजय हासदा ने कहा कि एलेक्ट्रोल बांड को लेकर सुप्रीम कोर्ट का बड़ा फैसला आया. एलेक्ट्रोलबोंड के जरिये पैसे वसूली का काम किया जा रहा है.जो पार्टी भर्ष्टाचार मुक्त का दम भरती है वह एलेक्ट्रोलबोंड के जरिये पार्टी का फण्ड में पैसा वसूलने के काम किया गया है. एसबीआई को कोर्ट ने आदेश दिया है कि जल्द पूरे एलक्ट्रोल बांड को लेकर चीजे सार्वजनिक करें
बड़गई अंचल की जमीन नहीं है हेमंत के कब्जे में
तो वहीं सुप्रियो भट्टाचार्य ने कहा कि देश में चुनाव होना है इसे लेकर चुनाव कराने वाली समिति को मोदी करेंगे इससे साफ है कि दूध की रखवाली बिल्ली कितना करेगी. दूसरी ओर ईडी की जांच झारखंड में जारी है. ईडी जल जंगल जमीम को कब्जे में लेने की तैयारी कर रही थी.लेकिन हेमंत सोरेन ने मुखर होकर इसका विरोध किया.जिसका नतीजा साफ है कि हेमंत सोरेन को जेल जाना पड़ा. हेमंत सोरेन पर आठ एकड़ जमीन कब्जे का आरोप लगाया है.जबकि यह जमीन रकेश कच्छप ने लीज पर लिया है. इस जमीन पर वह खेती करते है.बिजली का भी कनेक्शन ले रखा है समय से बिजली के बिल का भुगतान किया है.लेकिन आरोप में बताया गया है कि जमीन हेमंत सोरेन के कब्जे में है.2018 से हेमंत सोरेन ने जबरन इसे कब्जे में रखा है.जबकि जमीन 2015 में ही लीज पर लिया हुआ है. एक-एक कर सभी चीजें साफ होगी. ईडी जिसके इशारे पर काम कर रही है. उसका पर्दाफाश किया जाएगा.सुप्रियो ने दावा किया कि सरकारी कागज कभी मरता नहीं है.सरकारी दस्तावेजों को देखने से सारी चीजें साफ हो रही है.राजकुमार पहान की जमीन को 15 बार खरीद बिक्री की गई है.जब राजकुमार ने जमीन वापस करने का आवेदन दिया तो उन्हें अधिकारियों ने वापस किया है. हेमंत सोरेन को सिर्फ इस लिए जेल में डाला गया क्योंकि उन्होंने अस्मिता के साथ समझौता नहीं किया.
रिपोर्ट. समिर हुसैन