टीएनपी डेस्क(Tnp desk):- जमीन घोटाले को लेकर ईडी लगातर जांच कर रही है और उन तमाम चिजों को खंगाल रही है. जहां-जहां से उसे सुराग मिल रहे हैं. मनी लाउंड्रिंग के तहत अनुसंधान कर रही जांच एजेंसी ने सीनियर आइएएस अधिकारी की पत्नी प्रीति कुमार को समन किया है. ईडी ने नये साल में तीन जनवरी को पूछताछ के लिए बुलाया है. मामला रांची के बरियातू रोड स्थित बर्लिन अस्पताल की जमीन से संबंधित है. इसी सिलसिले में सवाल-जवाब किया जा सकता है. मालूम हो कि अनुसंधान के दौरान ईडी की जांच में अस्पताल की जमीन का मामला भी सामने आया था. ईडी ने जमीन की मापी कराई थी और अस्पताल दस्तावेज देखने के साथ-साथ नक्शा देखा था.बर्लिन अस्पताल की जमीन उनके नाम पर है. गौरतलब है कि प्रीति कुमार गृह सचिव अविनाश कुमार की पत्नी हैं.
भानु प्रसाद ने जमीन की दी थी जानकारी
जमीन घोटाले की पड़ताल ईडी परद दर परत कर रही है. इसमे कई लोगों के नाम आए हैं. सूत्रों के अनुसार बर्लिन अस्पताल की जमीन का नाम तब आया जब जमीन घोटले में गिरफ्तार बड़गाई अंचल के राजस्व उप निरीक्षक भानू प्रसाद ने इस जमीन के संबंध में जानकारी दी थी. भानु के घर से भी जमीन से संबंधित कई दस्तावेज मिले थे. उनपर रांची के सदर थाने में प्राथमिकी भी हुई थी, जिसके आधार पर ईडी ने नया ईसीआईआर किया था. इसी के जांच के दौरान जांच एजेंसी को मालूम पड़ा था कि बड़गाई अंचल का खाता संख्या 54, प्लाट नंबर 2711 की 12 कट्ठा जमीन गलत तरीके से खरीदी गई थी.
पहले किसी दूसरे ने खरीद थी जमीन
इस जमीन के बारे में जांच के दौरान ये बात सामने आई कि डा. नलिनी रंजन सिन्हा और उषा सिन्हा ने इसे खरीदा था. इसके बाद उनसे प्रीति कुमार औऱ टीएम ठाकुर ने इस जमीन को खरीदा. ईडी को ऐसी सूचना मिली थी कि उक्त जमीन की प्रकृति बदलकर उसकी खरदी-बिक्री हुई है. आगे की जांच में बर्लिन अस्पताल की जमीन के बारे में क्या बाते सामने निकलकर आती है. इस पर नजर बनीं रहेगी. मालूम हो की जमीन घोटाले में कई बड़े कारोबारी, पावर ब्रोकर समेत कई बड़े नाम आरोपी है. जिसकी जांच की जा रही है.
क्या है झारखंड का जमीन घोटाला ?
झारखंड के चर्चीत जमीन घोटाले को लेकर प्रवर्तन निदेशालय जांच कर रही हैं. आरोप है कि माफिया की ओर से भूमि के मालिकाना हक के लिए गैरकानूनी रुप से बदलने वाला एक बड़ा गिरोह झारखंड में सक्रिया था . जांच एजेंसी ने इसमे 14 लोगों को गिरफ्तार भी किया है. जिनमे सत्ता के पावर ब्रोकर प्रेमप्रकाश, 2011 बैच के भारतीय प्रशासनिक सेवा के अधिकारी छवि रंजन भी शामिल है. आरोप है कि छवि रंजन पहले राज्य समाज कल्याण विभाग के निदेशक और रांची के उपायुक्त के तौर पर कार्यरत थे. ईडी ने जमीन घोटाले के सिलसिले में ही राज्य के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन को छह बार समन भेज चुकी है. लेकिन, वो उपस्थित नहीं हुए. इसे लेकर काफी गर्माहत अभी तक चल रही है. आगे क्या होगा . इस पर सभी की निगाहे टिकी हुई है.