धनबाद(DHANBAD): कर हि सोए उपाय, पैसा आवे जेहि विधि ,की युक्ति को चरितार्थ करने वाले सरकारी कर्मचारी कोयला कारोबार में धोखाधड़ी करने के आरोप में गिरफ्तार हो गया है. बिहार के अररिया की पुलिस ने सहयोगी नगर सेक्टर 3 में रहने वाले प्रमोद सिंह को गिरफ्तार कर लिया है. प्रमोद सिंह के खिलाफ वहां के ठेकेदार ने डेढ़ करोड़ रुपए की धोखाधड़ी करने की प्राथमिकी दर्ज कराई थी. प्रमोद सिंह के खिलाफ कोर्ट का वारंट भी निर्गत था .इसी आधार पर उसकी गिरफ्तारी हुई है. इसके पहले भी प्रमोद सिंह घोटाले में फंस चुका है.
7 करोड रुपए के घोटाले में पहली बार आया था प्रमोद सिंह का नाम
झरिया के जोड़ा पोखर स्वास्थ्य केंद्र में हुए लगभग 7 करोड रुपए के घोटाले में पहली बार प्रमोद सिंह का नाम आया था. इसके बाद एसीबी की टीम ने उसके घर सर्च अभियान चला कर कई सनसनीखेज तथ्यों का खुलासा किया था . ए सी बी को पता चला था कि एक संविदा कर्मी होने के बावजूद वह करोड़ों का मालिक है.
10 जून को प्रमोद सिंह के खिलाफ दर्ज हुई थी प्राथमिकी
अररिया निवासी गंगा सिंह ने 10 जून 2023 को प्रमोद सिंह के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज कराई थी. कहा था कि कोयला लेने के लिए उसने दिसंबर 22 से लेकर अप्रैल 23 के बीच अपने खाते से प्रमोद सिंह की कंपनी में रुपए का ट्रांसफर किया. लेकिन कोयला नहीं मिला. आरोप है कि जब कोयला के लिए दबाव बनाया गया तो प्रमोद सिंह ने कहा कि धनबाद में अभी अवैध खनन का कोयला मिलता है. वह कोई बिल नहीं देगा. ऐसे में अररिया निवासी ने कोयला लेने से मना कर दिया और राशि वापस मांगी. इसके बाद प्रमोद सिंह धमकी दी और पैसा देने से इनकार कर दिया .धमकी तो यह भी दी कि अगर पैसा के लिए दबाव बढ़ाया गया तो कोयले के अवैध खनन में फंसा देगा.
जो भी हो लेकिन सरकारी कर्मचारी होते हुए पहले तो 7 करोड रुपए का गबन,उसके बाद कोयला का कारोबार और फिर पुलिस के हाथों गिरफ्तारी.तो क्या ऐसे अन्य लोग भी धनबाद में हैं जो सरकारी नौकरी करते हुए कोयल का अवैध धंधा धनबाद में कर रहे है.
रिपोर्ट: धनबाद ब्यूरो