अररिया(ARARIYA): इन दिनों देश के अलग-अलग राज्यों में बांग्लादेशी घुसपैठियों को लेकर पूरे देश में मुद्दा गरमाया हुआ है. वहीं इसको लेकर पक्ष-विपक्ष की ओर से आरोप प्रत्यारोप का दौर जारी है. अब इसको लेकर बिहार के अररिया जिले से चौंकानेवाली खबर सामने आयी है. जहां पीछले 5 सालों से गुपचुप तरीके से रह रहे कथित बांग्लादेशी को पुलिस ने गिरफ्तार किया है. आपको बताये कि ये पूरा मामला अररिया नगर थाना क्षेत्र अंतर्गत रामपुर कोदरकट्टी पंचायत के मरंगी टोला वार्ड संख्या 11 का है.
इस तरह लोगों को हुआ शक
अररिया पुलिस को सूचना मिली कि नगर थाना क्षेत्र अंतर्गत रामपुर कोदरकट्टी पंचायत के मरंगी टोला वार्ड संख्या 11 में कथित बंगलादेशी नागरिक पीछले 5 सालों से रहता है.इस बात की भनक तब लगी जब संदिग्ध व्यक्ति नगर थाना में पासपोर्ट संबंधित कार्य से पहुंचा था. जहां स्थानीय पुलिस ने पंचायत के मुखिया से उसके लेटर पैड पर लिखवाकर स्थानीय निवासी होने का प्रमाण-पत्र मांगा. जिसमें कथित बंगलादेशी नागरिक नवाब जब पंचायत के मुखिया पम्मी देवी के पास बीते शुक्रवार को कागज बनवाने पहुंचा तो उन्होंने छानबीन शुरू की. साथ ही उन्हें पंचायत का स्थानीय निवासी नहीं होने का शक हुआ.
पूछताछ में हुआ हैरान करनेवाला खुलासा
वहीं शक होने पर इस बात की छानबीन करते हुए मुखिया पम्मी देवी ने अपने मुखिया प्रतिनिधि राजेश कुमार सिंह को जानकारी दी. उन्होंने पंचायत के वार्ड संख्या 11 के स्थानीय निवासी मंजूर मियां के घर तहकीकात करने पहुंचे. जहां उन्हें उक्त व्यक्ति के 5 से 6 साल पूर्व से रहने को सूचना प्राप्त हुई. मुखिया प्रतिनिधि राजेश सिंह ने बंगलादेशी नागरिक नवाब से उसके कागजात मांगे तो मतदाता (वोटर आइडी) पहचान पत्र में नवाब के पिता की जगह पत्नी का नाम देखा गया. शक गंभीर होने पर उसे पिता या अन्य परिजन का आधार मांगे. तो नवाब बिना कागजात मुखिया को दिखाए हुए शनिवार की सुबह में सरपंच प्रतिनिधि मो वाजुद्दीन के पास पहुंच गया. जहां उन्होंने मुखिया प्रतिनिधि को जानकारी दी. जब मुखिया प्रतिनिधि ने सरपंच के घर पर सख्ती के साथ तहकीकात करने लगे तो नवाब ने बताया कि वह बंगलादेश के चापा नवाबगंज जिला से 5 से 6 वर्ष पूर्व आए हैं. कटिहार में मौसी के घर रहते थे. इसके बाद कटिहार से रामपुर कोदरकट्टी पहुंचे. इसके बाद पंचायत में 1.5 वर्ष पूर्व शादी किए हैं. जिससे एक 9 माह की बच्ची है. अब बंगलादेश जाना चाहते हैं. साथ ही 8 दिन पूर्व बंग्लादेश जाकर अपनी मां से भी मिला है.
मामले की जांच में जुटी पुलिस
जब पंचायत के जनप्रतिनिधि ने उक्त संदिग्ध व्यक्ति से पूछा कि बंगलादेश से कैसे भारत पहुंचे तो उसे ने बताया कि 5 सौ से 1 हजार रुपये की राशि देने पर रास्ते में आनेवाली नदी पार करवा दी जाती है. जिससे भारत आने में सहूलियत होती है. इसके बाद सूचना मिलने पर नगर थाना पुलिस पंचायत पहुंचकर विदेशी नागरिक को कब्जे में लेकर नगर थाना ले आयी. जहां एएसपी सह एसडीपीओ रामपुकार सिंह ने पहुंचकर पूछताछ किया है. नगर थाना में पुलिस व अन्य कई विभाग द्वारा गहन जांच जारी है.