Jharkhand Election: पांचवें चरण की लड़ाई तेज! हजारीबाग से तेजस्वी की हुंकार, कुर्मी मतदाताओं के साथ पिछड़ी जातियों की गोलबंदी की कवायद?

रांची(RANCHI): झारखंड में चौथे चरण की समाप्ति साथ ही पांचवें चरण की लड़ाई तेज हो चुकी है. इस पांचवें चरण में झारखंड की तीन लोकसभा सीटें चतरा, कोडरमा और हजारीबाग में चुनावी मुकाबला और गांडेय से कल्पना सोरेन की किस्मत का फैसला होना है. यहां याद रहे कि जहां हजारीबाग और चतरा से कांग्रेस प्रत्याशी मैदान में हैं, वहीं कोडरमा से माले प्रत्याशी और बागोदर विधायक विनोद सिंह मैदान में हैं. चौथे चरण में एक पलामू को छोड़कर सिंहभूम, खूंटी और लोहरदगा जैसे आदिवासी बहुल सीटों पर मुकाबला था. वहीं इस पांचवें चरण में पिछड़ी जातियों की बहुलता है, हजारीबाग में कुर्मी जाति की आबादी करीबन 15 फीसदी है. वहीं कोडरमा में पांच लाख के आसपास कुर्मी-कुशवाहा मतदाता है और इसके साथ ही चतरा, हजारीबाग और कोडरमा लोकसभा में यादव जाति की भी एक बड़ी आबादी है. ठीक यही स्थिति पलामू की थी, वहां भी राजद का एक मजबूत जनाधार और यादव जाति की ठीक-ठाक आबादी है. यही कारण है चौथे चरण में तेजस्वी का मुख्य जोर पलामू पर रहा, लेकिन पांचवें चरण की शुरुआत के साथ ही हजारीबाग, चतरा और कोडरमा में सक्रियता तेज होती दिख रही है.
हजारीबाग से चतरा कोडरमा को साधने की कवायद
आज तेजस्वी यादव हजारीबाग में रैली है, जहां से वह हजारीबाग के साथ ही चतरा और कोडरमा के सामाजिक समीकरण को साधने की कोशिश करेंगे. हजारीबाग में तेजस्वी यादव की रणनीति कुर्मी-कुशवाहा के साथ यादव जाति को खड़ा कर जेपी पटेल का राह आसान करने की है, वहीं कोडरमा में माले के विनोद सिंह के पक्ष में पिछड़ी जातियों की गोलबंदी तैयार करने की, और इसके साथ ही चतरा, जहां से राजद कार्यकर्ताओं के बीच नाराजगी की खबर सामने आ रही थी, स्थानीय राजद नेताओं की ओर से इस बात आरोप लगाया जा रहा था कि इस पिछड़ा बहुल सीट से कांग्रेस ने अगड़ी जाति का उम्मीदवार पेश कर पिछडों की हकमारी की है. तेजस्वी यादव की कोशिश राजद कार्यकर्ताओं की नाराजगी को दूर करने साथ ही केएन त्रिपाठी के पक्ष में पिछडों की गोलबंदी तैयार करने की होगी.
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